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नामवर सिंह के भक्त और लोकसमाज के लोकसेवक - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
-जगदीश्‍वर चतुर्वेदी हिन्दी में अनेक आलोचक हैं जो अभी भी चेतना की आदिम अवस्था में जी रहे हैं. कुछ ऐसे हैं जो सचेत रूप से आदिम होने की चेष्टा कर रहे हैं। समाज जितना तेजी से आगे जा रहा है वे उतनी ही तेजी से पीछे जा रहे हैं। हमें…