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सजा - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
एक दिन अप्पू की कापी को, गधेपुत्र ने फाड़ दिया| क्रोधित हाथी के बच्चे ने, जंगल पूर्ण उजाड़ दिया| बड़े गुरूजी भालूजी ने, गधेपुत्र को बुलवाया| उसको दंड स्वरूप वहीं पर, झटपट मुरगा बनवाया| बोला अगर किसी बच्चे ने, फाड़ी या गूदी कापी| कड़ा दंड हम देंगे उसको, नहीं मिलेगी…