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शहरी और ग्रामीण गरीबी की आंख खोलती तसवीर - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
उमेश चतुर्वेदी विकास के दावों और गरीबों-वंचितों को आर्थिक संबल देने की तमाम कोशिशों और दावों के बावजूद जब राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण की रिपोर्टें आती हैं तो इन कोशिशों की विद्रूपता की ओर ना सिर्फ ध्यान दिलाती हैं, बल्कि दावों की एक हद तक कलई भी खोल देती हैं। चूंकि…