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आपकी हँसी बिन सके ,आपकी ख़ुशी बिन सके - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
आपकी हँसी बिन सके ,आपकी ख़ुशी बिन सके बे-तनख़्वाह बस इसी काम पर रख लीजिए हमें आपको सँवारने में हम भी कुछ तो सँवर जाएँगे मत सोचिए, किसी भी दाम पर रख लीजिए हमें जल कर भी आपकी शफ़क़त* को रोशन रखेंगे अपने घर में लौ के नाम पर ही…