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अटल जी - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
सदा मनस्वी रहे अटल जी, सरल निष्कपट वर्चस्वी । दृढ़-संकल्प औ’ कर्मठता से,बने सदा वे परम यशस्वी।। * आजीवन ब्रह्मचर्य था साधा, देश के हित संलग्न था जीवन। मन में सेवा-भाव भरे थे, किया समर्पित तन, मन, धन ।। * हँसकर संघर्षों को झेला, कभी लेखनी रुकी नहीं । साहसपूर्वक…