अलग से हो ओबीसी की जनगणना : छगन भुजबल

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नागपुर। महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री छगन भुजबल ने कहा है अन्य पिछड़े वर्ग को आरक्षण की व्यवस्था मजबूत करने के लिए जनगणना में ओबीसी अलग से निष्कर्ष निकलनी चाहिए। सिविल लाइन्स स्थित रवि भवन में पत्रकारों से बातचीत में भुजबल ने कहा कि जिस तरह से जनगणना में अनुसूचिज जाति, जन जाति के लिए अलग कॉलम रख कर उनकी संख्या और अन्य निष्कर्ष निकाला जाता है, उसी तरह से ओबीसी की संख्या के साथ अन्य मामलों पर डाटा जारी होना चाहिए। उन्होंने कहा कि दूसरे राज्य में ओबीसी के नेता विशेषकर लालू प्रसाद यादव, मुलायम सिंह यादव आदि को भी अपनी पार्टी की ओर से जनगणना में ओबीसी को शामिल करने का मुद्दा उठाना चाहिए, जिससे कि केंद्र सरकार पर इस बात का दावब पड़े और वह जनगणना में ओबीसी को शामिल कर सके।

शनिवार को पृथक विदर्भ के मुद्दे पर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सुधीर मुनगंटीवार के भाजपा-शिवसेना गठबंधन के मुद्दे पर पूछे गए सवाल में भुजबल ने कहा कि शिवसेवा अपने कार्यों के लिए पहले से ही प्रसिद्ध है। विदर्भ मुद्दे पर गठबंधन की सरकार का जो निर्णय होगा, उसका हमारा समर्थन रहेगा। किसान आत्महत्या के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि पत्रकारों को किसानों की समस्या जोरदार तरीके से उठानी चाहिए।

आईपीएल में लगाए जाने वाले टैक्स के विषय में चर्चा करते हुए भुबजल ने कहा कि आईपीलएल काफी लोकप्रिय हो रहा है। यदि दूसरे राज्य अपने यहां होने वाले वाले आईपीएल मैच पर किसी तरह का कर लगाते हैं तो महाराष्ट्र सरकार भी इस पर विचार करेगी।

-संजय स्‍वदेश

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संजय स्‍वदेश
बिहार के गोपालगंज में हथुआ के मूल निवासी। किरोड़ीमल कॉलेज से स्नातकोत्तर। केंद्रीय हिंदी संस्थान के दिल्ली केंद्र से पत्रकारिता एवं अनुवाद में डिप्लोमा। अध्ययन काल से ही स्वतंत्र लेखन के साथ कैरियर की शुरूआत। आकाशवाणी के रिसर्च केंद्र में स्वतंत्र कार्य। अमर उजाला में प्रशिक्षु पत्रकार। दिल्ली से प्रकाशित दैनिक महामेधा से नौकरी। सहारा समय, हिन्दुस्तान, नवभारत टाईम्स के साथ कार्यअनुभव। 2006 में दैनिक भास्कर नागपुर से जुड़े। इन दिनों नागपुर से सच भी और साहस के साथ एक आंदोलन, बौद्धिक आजादी का दावा करने वाले सामाचार पत्र दैनिक १८५७ के मुख्य संवाददाता की भूमिका निभाने के साथ स्थानीय जनअभियानों से जुड़ाव। विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं के साथ लेखन कार्य।

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