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मानवता को जीवित जलाना मजहबियों के लिए कोई नवीन कृत्य नहीं - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
-दिव्य अग्रवाल मानवतावादी समाज इतिहास के पन्नो को विस्मृत कर देता है जिसके कारण वर्तमान में घटित होने वाली घटनाए अचंभित और आश्चर्यचकित लगती हैं । हमास द्वारा प्राणियों की निर्मम हत्या , जीवित जलाना , जीवित व्यक्ति का कलेजा निकालना , गर्भवती महिला का पेट चीरकर नवजात शिशु की…