नई दिल्लीः गैस सिलेंडर की सुरक्षा को केंद्र सरकार जल्द पुख्ता करने की तैयारी में है। इसमें उपभोक्ता की आशंका पर भी तत्काल जांच मुहैया कराई जाएगी। भले ही शिकायत मानकों पर खरा नहीं उतरने की हो या फिर लीक होने या किसी तरह के नुकसान से जुड़ी आशंका की हो। भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) के अधिकारी इसकी जांच कराएंगे। साथ ही खामी होने पर निर्माता कंपनी से जवाब तलब भी किया जाएगा।
उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने बीआईएस को गैस सिलेंडर की सुरक्षा मानकों पर सख्ती बरतने को कहा है। मंत्रालय ने बीआईएस को विभिन्न वर्गों के सिलेंडर की सुरक्षा जांच का विकल्प तलाशकर उपभोक्ताओं को मुहैया कराने के भी निर्देश दिए हैं।

दरअसल कई निजी कंपनियां मौजूदा समय 5 किलोग्राम के गैस सिलेंडर बनाकर बेच रही हैं, जिनमें से कई के सिलेंडर मानकों पर खरे नहीं उतरने की शिकायतें मंत्रालय को मिली हैं। इनमें से ज्यादातर कंपनियों ने बीआईएस प्रमाण-पत्र के लिए आवेदन नहीं किया है। ऐसे में मंत्रालय का मानना है कि अमुक कंपनियां उपभोक्ताओं की जिंदगी से खिलवाड़ कर रही हैं, जिनके सिलेंडर के मानक समेत अन्य खामियों की जांच बीआईएस करे और समुचित कदम उठाए।

सस्ते हैं बिना मानक वाले सिलेंडर
सरकार इसके पहले उपभोक्ताओं को पांच किलोग्राम के सिलेंडर आसानी से मुहैया कराने के कदम उठा चुकी है। इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) ने हाल ही में केवल पहचान-पत्र से गैस सिलेंडर मुहैया कराने की योजना शुरू की है, जो किसी डिस्ट्रीब्यूटर या प्वाइंट ऑफ सेल पर जाकर आसानी से लिया जा सकता है।

हालांकि इस दौरान बड़े पैमाने पर बिना मानक वाले सिलेंडर इनकी तुलना में कम कीमत पर भी मिलने लगे। इसका खामियाजा उपभोक्ताओं को भुगतना पड़ता है। यही वजह है कि सरकार ने बिना मानक वाले सिलेंडर के खिलाफ कार्रवाई का मन बनाया है।