नई दिल्ली : पीएम मोदी को पत्र लिखने के बाद अब सीआईएसएफ के जवानों ने हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उन्होंने कठिन परिस्थितियों में काम करने, खराब खाने और भत्ते न मिलने को लेकर शिकायत की है। इससे पहले भी इस तरह के कई मामले सामने आ चुके हैं। लेकिन सरकार द्वारा अब तक इस पर कोई भी ठोस कदम नहीं उठाया गया है।
200 CISF जवान पहुंचे कोर्ट, उत्पीड़न के खिलाफ उठाई आवाज़
अब बेंगलुरु के केम्पे गोडा अंतराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर सुरक्षा में तैनात 200 जवानों ने उत्पीडन के खिलाफ कर्नाटक हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। यह शिकायतों से पता चलता है कि सीआईएसएफ के जवानों को किस प्रकार से समस्याओं का सामना करना पड रहा है।गृह मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक बीते 3 सालों में 344 अर्ध सैनिक बलों के जवानों ने आत्महत्या कर ली। इनमें से 15 लोगों ने इस साल के शुरुआती तीन महीनों में ही मौत को गले लगा लिया। आंकड़ों के मुताबिक आत्महत्या करने वाले जवानों में से 15 पर्सेंट यानी 53 जवान सीआईएसएफ के थे। इसके अलावा 25 मामले ऐसे रहे हैं, जिसमें जवानों ने अपने ही सहकर्मियों की हत्या कर दी या फिर उन पर फायरिंग कर दी। ऐसी घटनाओं को अंजाम देने वालों में 13 जवान सीआईएसएफ के ही थे।

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