असम को तेल रॉयल्टी के रूप में 6,320 करोड़ रू का भुगतान करने पर केन्द्र सहमत
असम को तेल रॉयल्टी के रूप में 6,320 करोड़ रू का भुगतान करने पर केन्द्र सहमत

केंद्र ने कच्चे तेल की रॉयल्टी के रूप में असम सरकार को 6,320 करोड़ रपये के भुगतान पर आज सहमति जतायी। आठ साल चले कानूनी विवाद के बाद अदालत से बाहर मामले के निपटान के तहत यह फैसला किया गया है।

केंद्र सरकार यह राशि असम सरकार को वित्त वर्ष 2016-17 से लेकर तीन वित्त वर्ष में देगी।

असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने इस सक्रिय और साहसिक कदम के लिये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वित्त मंत्री अरूण जेटली तथा पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान को धन्यवाद दिया जिसकी वजह से मामले का अदालत से बाहर निपटान हो सका।

सोनोवाल ने यहां पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘केंद्र और राज्य सरकार तेल रायल्टी को लेकर 2008 से अदालत में लड़ाई लड़ रहे थे। उस समय केन्द्र और राज्य दोनों जगह कांग्रेस की सरकार थी।’’ उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन असम में भाजपा सरकार के सत्ता में आने के नौ महीने के भीतर ही हमने विवाद का समाधान कर लिया और केंद्र सरकार तेल रायल्टी के रूप में 6,320 करोड़ रपये देने पर सहमत हो गई। हम मोदी सरकार के शुक्रगुजार हैं।’’ केंद्र इसमें से 2016-17 में 948 करोड़ रपये, 2017-18 में 2,844 करोड़ रपये तथा 2018-19 में 2,528 करोड़ रपये देगी। यह राशि 1,450 करोड़ रपये के अलावा है जो पहले ही राज्य सरकार को मिल चुका है।’’ केन्द्र सरकार की कंपनी ऑयल इंडिया लिमिटेड असम में सालाना 32 लाख टन कच्चे तेल का उत्पादन करती है। तेल एवं प्राकृतिक गैस निगम लिमिटेड :ओएनजीसी: भी राज्य में 11 लाख टन सालाना उत्पादन करती है।

ऑयल इंडिया और ओएनजीसी केन्द्र और राज्य सरकारों को रॉयल्टी का भुगतान करती रही हैंै। यह भुगतान तेल क्षेत्रों के :नियमन और विकास: कानून 1948 और पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस नियम 1959 के प्रावधानों के तहत किया जाता है।

( Source – PTI )

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