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व्यंग्य बाण : शिष्टाचार हमारी परम्परा है - प्रवक्‍ता.कॉम - Pravakta.Com
विजय कुमार शर्मा जी के गुस्से की बात न पूछें। भगवान न करे कभी आपको ऐसे में उनके सामने जाने का मौका मिले। गुस्से में उनका चेहरा ऐसा लगता है मानो जून में हीटर जला दिया हो। पर मैं उनका पुराना मित्र हूं, इसलिए मुझे ऐसे माहौल को झेलने का…