16 मई 2014 को देश में मोदी सरकार सत्ता में आई तो बड़ा सुकून हुआ। लगता है देश के अधिकांश लोगों को ऐसा ही सुकून महसूस हुआ होगा। पर आये दिन घट रही घटनाओं और दंबगों के बढ़ते हौसले से फिर निराशा का माहौल बनने लगा है। लगता है कि एक बार फिर देश के नागरिकों की सारी मेहनत अकारथ जाएगी। 15 जून 2014 को देश में हर ओर दबंगई का आलम नजर आया। कहीं मजदूर को जिंदा जला दिया गया तो कहीं जूट मिल के सीईओ की हत्या कर दी गई। कहीं ट्रैफिक कांस्टेबिल की खौफनाक हत्या कर दी गई तो कहीं सांसद पर हमला कर दिया गया। लगता है देश में कुछ लोगों के बीच से कानून का खौफ खत्म हो गया है। शासन सत्ता और प्रशासन अपना इकबाल नहीं कायम कर पा रहा है। पश्चिम बंगाल में एक जूट मिल के मुख्य कार्यपालक अधिकारी को कथित रूप से कुछ श्रमिकों ने मिल परिसर में पीट पीटकर मार डाला। यह घटना हुगली जिले के भद्रेश्वर की है और बताया जाता है कि श्रमिक अपनी वेतन मांगें पूरा नहीं होने पर उत्तेजित थे। हुगली के पुलिस अधीक्षक सुनील चौधरी ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि नार्थ ब्लाक जूट मिल के सीईओ एचके महेश्वरी की नाराज कर्मचारियों ने उस समय पिटाई की जबकि उन्होंने श्रमिकों की वेतन संबंधी मांग खारिज कर दी। कर्मचारी अपने सप्ताह में कार्य के घंटे बढ़ाने की मांग कर रहे थे ताकि उन्हें अधिक पगार मिल सके। मिल इन श्रमिकों को घंटे के हिसाब से भुगतान करती है। श्रमिक सुबह 11 बजे महेश्वरी से उनके कक्ष में मिले थे और मांग की थी कि उन्हें सप्ताह में 25 घंटे की जगह 40 घंटे का काम दिया जाए।
दूसरी ओर पश्चिम दिल्ली के मोती नगर इलाके में बहस के बाद दो किशोरों समेत तीन लोगों ने ट्रैफिक पुलिस के कांस्टेबल को कार से कुचलकर मार डाला। यह घटना शनिवार शाम साढ़े सात बजे के करीब हुई जब 26 वर्षीय मुख्य आरोपी रमनकांत को जखीरा फ्लाईओवर पर 24 वर्षीय कांस्टेबल माना राम ने रोका। गाड़ी रमनकांत चला रहा था और उसके साथ उसके दो नाबालिग मित्र थे। शाम पांच से रात नौ बजे तक यातायात का मार्ग परिवर्तित था और रमनकांत उसका उल्लंघन कर रहा था। पहले बहस हुई फिर रमनकांत ने कार पीछे की और माना राम पर कार चढ़ा दी। उसने उसे तकरीबन 150 मीटर तक खींचा। माना राम को पंजाबी बाग इलाके में एमएएस अस्पताल में ले जाया गया, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। तीनों घटनास्थल से फरार हो गए थे, लेकिन बाद में उन्हें पकड़ लिया गया। घटना में शामिल वाहन को भी जब्त कर लिया गया। कांस्टेबल माना राम राजस्थान में नागौर के रहने वाले थे और साल 2010 में बल में शामिल हुए थे। इसी क्रम में पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले में तृणमूल कांग्रेस के 4 कार्यकताओं की हत्या कर दी गई। इस मामले में प्रदेश में मंत्री रह चुके मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआईएम) के नेता कांति गांगुली के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। घटना शनिवार रात रायडीघी कस्बे के खारी गांव की है। उपद्रवियों ने कार्यकर्ताओं के घरों पर बम फेंके और गोलीबारी की। इसके कारण 4 कार्यकर्ताओं की मौत हो गई, जबकि तीन अन्य जख्मी हो गए। तृणमूल कार्यकर्ता उस समय एक बैठक में हिस्सा लेने के लिए जुटे थे। जिले के एसपी प्रवीण कुमार त्रिपाठी ने कहा, इस मामले में हमने चार लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। पूर्व मंत्री गांगुली सहित 21 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इस बीच, गांगुली ने अपने ऊपर लगे आरोपों का खंडन किया है और कहा कि उनकी छवि धूमिल करने की कोशिश की जा रही है। इतना ही नहीं उत्तर प्रदेश के झांसी जनपद में मजदूरी करने से मना करने पर दबंगों ने मिट्टी का तेल डालकर एक दलित मजदूर को जिंदा जला दिया। मजदूर को बचाने के लिए उसका भाई मदद के लिए दौड़ा तो वह भी बुरी तरह झुलस गया। बुरी तरह से झुलसे युवक को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जानकारी के अनुसार चिरगौन के थपई गांव निवासी दलित मजदूर पवन से गांव के कुछ दबंगों ने उसके घर चलकर मजदूरी करने के लिए कहा। पवन ने मजदूरी से मना कर दिया तो दबंगों ने इसी बात पर उस पर मिट्टी का तेल डालकर उसको जिंदा जला दिया। पवन को आग की लपटों में घिरा देख उसका भाई कपिल मदद के लिए दौड़ा तो वह भी बुरी तरह झुलस गया। पुलिस ने इस मामले में नामजद रिपोर्ट दर्ज कर ली है। उत्तर प्रदेश की फतेहपुर लोकसभा सीट से नवनिर्वाचित भाजपा सांसद साध्वी निरंजन ज्योति पर शनिवार की रात भानु पटेल नाम के एक युवक ने अपने तीन अन्य साथियों के साथ हमला कर दिया और तमंचे से फायरिंग की, जिसमें उनका एक अंगरक्षक घायल हो गया,मगर वे बााल-बाल बच गयीं। पुलिस अधीक्षक विनोद सिंह ने बताया कि सिविल लाइन स्थित आवास विकास कालोनी के एक घर में मुण्डन संस्कार में शामिल होने आयीं भाजपा सांसद साध्वी निरंजन ज्योति जब वापस लौट रही थीं तभी भानू पटेल नाम के एक युवक ने अपने तीन साथियों के साथ अचानक हमला कर दिया और फायरिंग की। सांसद की तहरीर पर मुकदमा दर्ज करके भानु पटेल को गिरफ्तार कर लिया गया है। उत्तर प्रदेश में अमेठी जिले के जगदीशपुर थाना क्षेत्र में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के करीबी एवं दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री रहे कांग्रेसी नेता जंगबहादुर सिंह के बेटे तथा उनके वाहन चालक की हत्या कर दी गई। इस मामले में समाजवादी पार्टी के पूर्व सांसद व विधान परिषद के मौजूदा सदस्य अक्षय प्रताप सिंह उर्फ गोपाल सहित नौ लोगों के विरुद्व प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है। पुलिस अधीक्षक हीरालाल ने बताया, गोपाल जी अखिलेश यादव सरकार में कैबिनेट मंत्री तथा कुण्डा के निर्दलीय विधायक रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया के मौसेरे भाई हैं। जंगबहादुर के बेटे महेन्द्र सिंह उर्फ दद्दन सफारी गाड़ी से मुसाफिरखाना से जामो स्थित अपने घर जा रहे थे कि रास्ते में रानीगंज के पास एक बोलेरो तथा मोटरसाइकिल पर पहले से खड़े करीब आठ लोगों ने उन पर गोलियां बरसायीं, जिसमें महेंद्र सिंह और ड्राइवर सुरेंद्र सिंह की मौत हो गयी और उनका एक साथी देवराज सिंह घायल हो गया।