
पश्चिम बंगाल के कई जिलों में पिछले लगभग दो महीने से बारिश नहीं हुयी है और अधिकतम तापमान 50 डिग्री सेल्सियस के करीब बना हुआ है और राज्य सरकार वहां सूखा प्रभावित क्षेत्र घोषित किये जाने से पूर्व स्थिति का आकलन कर रही हैं।
राज्य के कृषि मंत्री पुर्णेन्दु बसु ने ‘पीटीआई भाषा’ को बताया कि कई जिलों, विशेषकर पुरूलिया, पश्चिमी मिदनापुर, और बर्धमान में स्थिति ‘बेहद खराब’ है।
बसु ने बताया, ‘‘बारिश नहीं होने के कारण फसलों को नुकसान पहुंचा है और जलाशय सूख गये हैं जिसके परिणामस्वरूप इन चार जिलों में भारी जल संकट पैदा हो गया है। जिन जिलों को सूखाग्रस्त घोषित किया जाना है उनके संबंधित विभागों से हमने रिपोर्ट मांगी है।’’ उनके मुताबिक, सभी 19 जिलों से स्थिति पर डीएमओ की रिपोर्ट मांगी गयी है। पुरूलिया जिले की रिपोर्ट पूरी हो गयी है जबकि अन्य जिलों के रिपोर्ट संकलन का काम जारी है और इसे कुछ दिनों में पूरा कर लिया जाएगा।
बसु ने बताया, ‘‘हमें इन रिपरेट से इन स्थानों में फसल नुकसान का आकलन करने में मदद मिलेगी और तदनुसार किसानों की क्षतिपूर्ति कैसे की जाए इसमें हमें मदद मिलेगी। ’’ उन्होंने आरोप लगाया कि सूखाग्रस्त जिलों में राहत के लिए पिछले साल राज्य की याचिका पर केन्द्र ने कोई जवाब नहीं दिया था।
कृषि मंत्री ने उल्लेख किया कि जिस किसान की 33 प्रतिशत से अधिक फसल खराब हुयी है केवल उन्हीं को मुआवजा मिलेगा।
( Source – पीटीआई-भाषा )