
पश्चिम बंगाल विधानसभा ने केन्द्र के राज्य सरकार के खिलाफ कथित भेदभाव को लेकर आज एक प्रस्ताव पारित किया। साथ ही विपक्षी कांग्रेस, भाजपा और वामपंथी पार्टियों ने इस कदम को राज्य सरकार का एक ‘पाखंड’ करार दिया।
राज्य संसदीय कार्य मंत्री पार्थ चटर्जी ने नियम 185 के तहत यह प्रस्ताव पेश किया था।
चटर्जी ने कहा, ‘‘संघीय ढांचे में विभिन्न परियोजनाओं के लिए फंड आवंटित नहीं करना गंभीर चिंता का विषय है। फंडों पर राज्य का अधिकार है जिससे केन्द्र ने उसे वंचित रखा है। केन्द्र का रवैया संघीय ढांचे के मानदंडों के खिलाफ है और हम इसका कड़ा विरोध करते हैं।’’
( Source – पीटीआई-भाषा )