
दिल्ली उच्च न्यायालय ने केंद्रीय मंत्री अरण जेटली की ओर से दायर 10 करोड़ रपये के ताजा मानहानि मामले में आज मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल से जवाब मांगा । जेटली ने यह मामला केजरीवाल के वकील राम जेठमलानी द्वारा हाल में कथित आपत्तिजनक शब्द इस्तेमाल किए जाने को लेकर दायर किया है ।
संयुक्त रजिस्ट्रार पंकज गुप्ता ने केजरीवाल को नोटिस जारी किया जिसमें उनसे पूछा गया है कि उनके खिलाफ मानहानि की कार्यवाही क्यों नहीं शुरू की जानी चाहिए ।
अदालत ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 26 जुलाई की तारीख निर्धारित कर दी । तब तक केजरीवाल को जवाब देना होगा ।
वित्त एवं रक्षा मंत्री जेटली ने आम आदमी पार्टी के मुखिया तथा पार्टी के पांच अन्य पदाधिकारियों के खिलाफ मानहानि की कार्यवाही के दौरान खुली अदालत में जेठमलानी द्वारा अपने खिलाफ कथित ‘‘गाली’’ का इस्तेमाल किए जाने के बाद मानहानि का यह दूसरा मामला दायर किया है ।
उच्च न्यायालय में 17 मई को मंत्री से जिरह के दौरान जेठमलानी ने कुछ ऐसी बातें कही थीं जिन्हें जेटली ने आपत्तिजनक पाया था।
इसके एक दिन बाद न्यायमूर्ति मनमोहन ने जिरह के दौरान संयुक्त रजिस्ट्रार के समक्ष जेठमलानी द्वारा जेटली के खिलाफ की गई टिप्पणियों को ‘‘अपमानजनक’’ करार दिया था ।
टिप्पणियों को लेकर जेटली की ओर से दूसरा वाद दायर किया गया ।
वाद में कहा गया कि केंद्रीय मंत्री की ईमानदार और स्वच्छ छवि रही है और उन्होंने अपनी पेशेवर कमाई जनसेवा के कई कार्यों में लगाई है ।
जेठमलानी ने संयुक्त रजिस्ट्रार को बताया था कि उन्होंने कार्यवाही के दौरान जेटली के खिलाफ संबंधित टिप्पणियां केजरीवाल के निर्देश पर की थीं ।
हालांकि, केजरीवाल के लिए एडवोकेट ऑन रिकॉर्ड अनुपम श्रीवास्तव ने कहा था कि मुख्यमंत्री ने ऐसा कोई निर्देश नहीं दिया ।
( Source – PTI )