राजनीतिक दलों ने तीन तलाक पर न्यायालय के फैसले का स्वागत किया
राजनीतिक दलों ने तीन तलाक पर न्यायालय के फैसले का स्वागत किया

भाजपा और कांग्रेस ने आज तीन तलाक की प्रथा को असंवैधानिक ठहराने वाले उच्चतम न्यायालय के फैसले का स्वागत किया और कहा कि यह लैंगिक न्याय और समानता की दिशा में बढ़ाया गया एक कदम है।

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक आधुनिक समाज की तरक्की में अवरोधक माने जाने वाले इस मुद्दे पर आए न्यायालय के फैसले का स्वागत किया और केंद्र सरकार से इसपर जल्दी ही एक कानून लेकर आने को कहा।

चौहान ने ट्विटर पर कहा, ‘‘हम तीन तलाक के मुद्दे पर उच्चतम न्यायालय के फैसले का स्वागत करते हैं और केंद्र सरकार से अपील करते हैं कि वह जल्दी ही एक कानून लेकर आए। तीन तलाक जैसी परंपराएं हमारी बहन-बेटियों के लिए मानसिक और सामाजिक प्रताड़ना जैसी हैं और आधुनिक भारतीय समाज की प्रगति में रोड़ा हैं।’’ कांग्रेस के नेता सलमान खुर्शीद ने भी इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि ‘‘यह एक अच्छा फैसला है।’’ हालांकि उन्होंने यह कहा कि जितना अहम फैसला है, उतनी ही अहम उसके पीछे की तर्कशीलता भी है। किसी को भी किसी निष्कर्ष पर पहुंचने से पहले इस तर्कशीलता को देखना चाहिए।

केंद्रीय मंत्री मेनका गांधी ने भी इसे ‘अच्छा फैसला’ बताते हुए कहा , ‘‘हम इसका स्वागत करते हैं। यह लैंगिक न्याय और लैंगिक समानता की दिशा में आगे की ओर बढ़ते हुए उठाया गया कदम है। यह महिलाओं के लिए अच्छा है।’’ जब उनसे पूछा गया कि क्या सरकार जल्दी ही इसपर एक कानून लाएगी, तो उन्होंने कहा कि सरकार इसपर कानून बनाने पर विचार करेगी।

भाजपा के सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने भी इसका स्वागत करते हुए कहा कि इसने सुधार लाने का मार्ग प्रशस्त कर दिया है।

स्वामी ने ट्विटर पर कहा, ‘‘प्रधान न्यायाधीश ने एक समझदार फैसला दिया है। उन्होंने तीन तलाक पर छह माह के लिए रोक लगाई है और संसद से कहा है कि वह इसकी खामियों को हटाए और कानून लेकर आए।’’ स्वामी ने कहा कि इससे हिंदुओं और मुस्लिमों के बीच नजदीकी आएगी और यह मुस्लिम महिलाओं के लिए एक बड़ा दिन है।

उन्होंने कहा, ‘‘हम खुश हैं कि हिंदू और मुस्लिम दोनों ही महिलाएं सुधार के लिए एकसाथ खड़ी हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘यह मुस्लिम महिलाओं के लिए एक बड़ा दिन है। उनके साहस और निर्भीकता को सलाम। वे असल सुधार के लिए खड़ी रही हैं और हमें उन्हें सलाम करना चाहिए और उनके साथ खड़े होना चाहिए।’’ भाजपा के प्रवक्ता और वरिष्ठ वकील अमन सिन्हा ने कहा कि इस फैसले ने नरेंद्र मोदी सरकार के रूख को दोषमुक्त कर दिया है।

सिन्हा ने कहा कि पांच जजों वाली संवैधानिक पीठ की ओर से मुस्लिमों के बीच तीन तलाक की प्रथा को ‘असंवैधानिक’ घोषित किए जाने से मुस्लिम महिलाओं को एक सम्मानित जीवन जीने का अधिकार मिलेगा।

उन्होंने कहा, ‘‘उच्चतम न्यायालय ने भारत सरकार के इस रूख को बरकरार रखा है कि तीन तलाक असंवैधानिक और भेदभावपूर्ण है।’’ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वतंत्रता दिवस के भाषण का हवाला देते हुए वरिष्ठ वकील ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री ने तीन तलाक की प्रतिगामी प्रथा के कारण महिलाओं की दुखदायी स्थिति के मुद्दे को उठाया था और आज इसे असंवैधानिक ठहरा दिया गया है।’’ सिन्हा ने कहा, ‘‘तीन तलाक के मुद्दे पर सरकार का रूख दोषमुक्त हो गया है। यह मुस्लिम महिलाओं को सम्मान एवं गरिमा के साथ जीवन जीने का अधिकार देगा।’’ उच्चतम न्यायालय ने आज एक ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए मुस्लिमों में तीन तलाक की प्रथा को ‘अमान्य’, ‘अवैध’ और ‘असंवैधानिक’ घोषित कर दिया।

( Source – PTI )

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