नारी ने नर को जन्म दिया

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नारी ने नर को जन्म दिया
नर ने उसे है बाजार दिया
जिस नारी ने नर को पाला है
उस नर ने उस पर अत्याचार
किया।।

समय अब बदल रहा है
नारी अब बदल रही हैं
वह अपने अधिकारों को
काफी अब समझ रही हैं।।

पहले नारी अशिक्षित थी
अब नारी काफी शिक्षित है
अब इस शिक्षा के कारण ही
नारी नर पर अब भारी है।।

नारी अब अबला नहीं रही
वह अब सबला हो गई है
नर समझे था जिसको कमजोर
वह नर से शक्तिशाली हो गई हैं।।

नारी ने नारायण को जन्म दिया
वह देवी स्वरूप कहलाई है
तीनो लोक में उसकी पूजा होती
वह सबकी जननी कहलाई है।।

नारी न होती तो नर न होता
फिर नारी का क्यो अपमान होता ?
होता नहीं अगर सम्मान नारी का
ये संसार इतना बड़ा न होता।।

नर सुधारे अपना चाल चलन
न नारी हो कभी भी बदचलन
सुधारे दोनों ही अपना चलन
चलता रहेगा सदा अच्छा चलन।।

नारी ही मां बहन बेटी है
नारी ही जग की मूल है
नारी ही चंडी का रूप है
नारी ही कोमल फूल है।।

नारी ही जीवन की छाया है
नारी ही मोह भरी माया है
जो रहती हैं हमारे ही साथ
प्रेम शक्तिं की एक छाया है।।

आर के रस्तोगी

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आर के रस्तोगी
जन्म हिंडन नदी के किनारे बसे ग्राम सुराना जो कि गाज़ियाबाद जिले में है एक वैश्य परिवार में हुआ | इनकी शुरू की शिक्षा तीसरी कक्षा तक गोंव में हुई | बाद में डैकेती पड़ने के कारण इनका सारा परिवार मेरठ में आ गया वही पर इनकी शिक्षा पूरी हुई |प्रारम्भ से ही श्री रस्तोगी जी पढने लिखने में काफी होशियार ओर होनहार छात्र रहे और काव्य रचना करते रहे |आप डबल पोस्ट ग्रेजुएट (अर्थशास्त्र व कामर्स) में है तथा सी ए आई आई बी भी है जो बैंकिंग क्षेत्र में सबसे उच्चतम डिग्री है | हिंदी में विशेष रूचि रखते है ओर पिछले तीस वर्षो से लिख रहे है | ये व्यंगात्मक शैली में देश की परीस्थितियो पर कभी भी लिखने से नहीं चूकते | ये लन्दन भी रहे और वहाँ पर भी बैंको से सम्बंधित लेख लिखते रहे थे| आप भारतीय स्टेट बैंक से मुख्य प्रबन्धक पद से रिटायर हुए है | बैंक में भी हाउस मैगजीन के सम्पादक रहे और बैंक की बुक ऑफ़ इंस्ट्रक्शन का हिंदी में अनुवाद किया जो एक कठिन कार्य था| संपर्क : 9971006425

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