अलवर जिले में कथित तौर पर गौरक्षकों द्वारा 35 वर्षीय उमर खान की जान लेने की घटना की विपक्ष और सामाजिक संगठनों ने कड़ी आलोचना की है।
अलवर पुलिस ने खान की हत्या के संबंध में एक नाबालिग को हिरासत में लिया है और उससे उसके अन्य साथियों के बारे में पूछताछ की जा रही है। विपक्ष कांग्रेस ने अराजकता के लिये राज्य सरकार को दोषी ठहराया है, और सामाजिक संगठनों ने हत्यारों की गिरफ्तारी और परिजनों के लिये मुआवजे की मांग की है।
राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा कि यह बेहद चिंताजनक है कि राजस्थान में भीड़ द्वारा हिंसा एक आम बात हो गई है।
उन्होंने ट्वीट के जरिये कहा कि सरकार के नकारात्मक रवैया और प्रतिक्रिया से दुखी हूं।
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने हत्या पर अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि मामले की निष्पक्ष जांच होनी चाहिये। इस मामले का हश्न पहलू खान के मामले जैसा नहीं होना चाहिए। उन्होंने ट्वीट के जरिये कहा कि यह दुर्भाग्य की बात है कि ऐसी घटनाओं को रोकने में सरकार पूरी तरह विफल रही है, वहीं दूसरी ओर गृहमंत्री गैर जिम्मेदाराना बयान दे रहे हैं।
जयपुर में पीपुल्स यूनियन फार सिविल लिबर्टीज :पीयूसीएल: सहित अन्य सामाजिक संगठनों के कार्यकर्ताओं ने हत्या के आरोपियों को तुरंत गिरफ्तार करने और मुआवजे की मांग को लेकर प्रदर्शन किया।
पीयूसीएल और अन्य संगठनों के कार्यकर्ताओ ने मृतक उमर के परिजनों को 25 लाख रूपये के मुआवजे और भूमि तथा एक आश्रित को सरकारी नौकरी दिए जाने की मांग की है।
उन्होंने घायल ताहिर की सुरक्षा और दस लाख मुआवजे के साथ साथ उनके विरूद्व दर्ज गौ तस्करी का मामला खत्म करने की मांग की है।
इस बीच, हैदराबाद की एक खबर के अनुसार, एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने इस घटना की निंदा करते हुए इसकी निष्पक्ष जांच की मांग की है।
( Source – PTI )