
उच्चत न्यायालय ने चारा घोटाला मामले में झारख्ांड उच्च न्यायालय के फैसले को रद्द करते हुए राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव को चारा घोटाले से जुडे सभी चारों मामलों में सुनवाई का सामना करने के आज आदेश दिए।
न्यायमूर्ति अरूण मिश्रा और न्यायमूर्ति अमिताव रॉय की पीठ ने निचली अदालत को 68 वर्षीय यादव तथा अन्य के खिलाफ कार्रवाई नौ माह के भीतर पूरी करने के निर्देश दिए।
पीठ ने कहा, ‘‘हमारा मानना है कि प्रत्येक अपराध के लिए पृथक सुनवाई होनी चाहिए।’’ चारा घोटाला तत्कालीन मुख्यमंत्री लालू प्रसाद के कार्यकाल में पशुपालन विभाग द्वारा विभिन्न जिलों से फर्जी तरीके से 900 करोड़ रूपए की निकासी से जुड़ा है।
बिहार के पूर्व मुख्समंत्री जगन्नाथ मिश्रा एंव राज्य के पूर्व सचिव संजाल चक्रवर्ती भी इस मामले में आरोपी हैं। उच्चतम न्यायालय ने 2014 के उच्च न्यायालय के आदेश को रद्द करते हुए, जिसमें यादव को एक मामले में दोषी ठहराते हुए शेष मामलों में उनके खिलाफ सुनवाई पर रोक लगा दी थी, कहा कि उच्च न्यायालय को अपने निष्कषरें में दृढ़ रहना चाहिए और एक ही मामले में आरोपियों के अगल अलग गुटों के लिए अलग अलग आदेश नहीं सुनाना चाहिए।
( Source – PTI )