साक्षात्कार विश्वविद्यालयों के लालरंग में दबा आम जनमानस का साहित्य December 31, 2016 by प्रभांशु ओझा | Leave a Comment साहित्य यूँ तो समाज का दर्पण कहा जाता है लेकिन क्या हो जब यह दर्पण किसी ख़ास विचारधारा का मुखपत्र भर बन कर रह जाये ? क्या हो जब साहित्य के नाम पर विचारधारा का प्रचार किया जाने लगे .साहित्य की दुनिया में एक खास विचारधारा की तानाशाहियों पर खुलकर बातचीत की हिंदी –विभाग,दिल्ली –विश्वविद्यालय […] Read more » interview with D U Proffessor Chandan Kumar दिल्ली –विश्वविद्यालय के प्रोफ़ेसर चन्दन कुमार लालरंग में दबा आम जनमानस का साहित्य विश्वविद्यालयों के लालरंग