कविता समय का पहिया February 25, 2021 / February 25, 2021 by प्रभात पाण्डेय | Leave a Comment मानो तो मोती ,अनमोल है समयनहीं तो मिट्टी के मोल है समयकभी पाषाण सी कठोरता सा है समयकभी एकान्त नीरसता सा है समयसमय किसी को नहीं छोड़ताकिसी के आंसुओं से नहीं पिघलतासमय का पहिया चलता हैचरैवेति क्रम कहता हैस्वर्ण महल में रहने वालेतेरा मरघट से नाता हैसारे ठौर ठिकाने तजकरमानव इसी ठिकाने आता है ||भूले […] Read more » समय का पहिया