कविता बचपन की यादों को यारो मत भूलाना May 8, 2021 by आर के रस्तोगी | Leave a Comment शाम होते ही छतो पर चढ़ जाना,छतो पर चढ़कर पानी छिड़कना,पानी छिड़का कर गद्दे बिछानागद्दे बिछाकर उसपर चादर बिछाना।बचपन की यादों यारो मत भुलाना।। आधी रात को बरसात का आ जानागद्दे चादर उठाकर नीचे भाग जाना,भाग कर फिर से मुंह ढक कर सो जाना,मम्मी ने सुबह डंडे मारकर जगाना,बचपन की यादों को यारो मत भूलाना […] Read more » बचपन की यादों को यारो मत भूलाना