बच्चों का पन्ना

बैठ ट्रेन में गधेराम जी,

 

बैठ ट्रेन में गधेराम जी,
निकले हैदराबाद को।
उनका था संगीत समागम,
आनेवाली रात को।

किंतु बर्थ के ठीक सामने,
एक आदमी बैठा था।
पल पल में तंबाकू खाता,
पल में सिगरेट पीता था।

खांस खांस कर गधेराम का,
हाल बड़ा बेहाल हुआ।
उड़ी महक तंबाकू की तो,
लुड़का और निढाल हुआ।

किंतु होश जैसे आया तो,
वह टी.टी को ले आया।
तंबाकू खाने वाले का,
सौ जुर्माना करवाया।

फिर बोला टी टी से ,भैया,
मेरी सीट बदलवा दो।
इंसानों से दूर कहीं भी,
जगह जरा सी दिलवा दो।