कविता एक नायिका के अंगो की उपमाएं June 23, 2021 / June 24, 2021 by आर के रस्तोगी | Leave a Comment ये यौवन क्या है तुम्हारा,उमड़ता हुआ है समंदर।डर लगता है इससे मुझको,कहीं डूब न जाऊं मै अंदर।। ये काली जुल्फे है तुम्हारी,काली घटा भी इनसे हारी।इनको जब तुम झटकती,बिजली इनके आगे मटकती।। ये आंखे क्या है तुम्हारी,नीली झील से भी गहरी।नौका विहार करूं मै इसमें,जो दुनिया देखे मुझे सारी।। ये मस्तक है जो तुम्हारा,चमकता हुआ […] Read more » नायिका के अंगो की उपमाएं