गजल जो कह चूका गीत उसे भी न भूल जाओ September 11, 2012 / September 11, 2012 by प्रवीण गुगनानी | Leave a Comment जो कह चूका गीत उसे भी न भूल जाओ तुम्हे मेरे सपनो में अब भी देखा करता हूँ कभी भी यहाँ वहाँ पहले की ही तरह अब भी भटका करता हूँ .. नहीं होते हैं चलती साँसों मैं पेंच अब उस तरह के पर हर साँस से मैं गिरते फूलो को थामा करता हूँ.. साँसों […] Read more » gazal by praveen gugnani