कला-संस्कृति चिंतन धर्म-अध्यात्म शख्सियत स्वामी विवेकानन्द जी के उद्बोधक प्रशंसनीय विचार March 14, 2015 / March 14, 2015 by मनमोहन आर्य | 1 Comment on स्वामी विवेकानन्द जी के उद्बोधक प्रशंसनीय विचार मनमोहन कुमार आर्य स्वामी विवेकानन्द जी के हिन्दू जाति को जीवित जागृत करने वाले विचार इस लेख में प्रस्तुत किए जा रहे हैं। दिल्ली से प्रकाशित साप्ताहिक आर्यजगत पत्र के 19 अक्तूबर, 1980 विशेषांक में लगभग 35 वर्ष पूर्व इन विचारों को “मोहभंग का स्वर” शीर्षक दिया गया था। हमें यह विचार हृदय को […] Read more » swami vivekanand Vivekanand vivekanand in new age vivekanand thoughts