कविता हिंद स्वराज
मुक्ति संग्राम में मेरा, अपने इष्ट से मिलन हो गया
/ by श्रीराम तिवारी
अमर शहीद-भगतसिंह -राजगुरु -सुखदेव की शहादत को चिरस्मरणीय बनाते हुए-काव्यात्मक श्रद्धाँजलि ! मुक्ति संग्राम में मेरा ,अपने इष्ट से मिलन हो गया।। पग शहीदों ने आगे धरा ,वो युग का चलन हो गया। गुलामी के फंद काटने , जब जवानियाँ मचलने लगीं, तब क्रांति यज्ञ वेदी पर , शहादत का हवन हो गया।,,,,,[मुक्ति संग्राम में […]
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