धर्म-अध्यात्म गीता सार और वैदिक धर्म May 24, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य गीता का सार प्रस्तुत करते हुए एक बात यह भी कही जाती है कि गीता के अनुसार मनुष्यों को ‘सभी प्रकार की आसक्ति को छोड़कर और सफलता-असफलता को समान समझकर अपना कर्तव्य करना चाहिए। यही कर्मयोग है। अपने धर्म में भले ही कुछ कमियां हों, फिर भी वह दूसरों के धर्म से […] Read more » गीता सार वैदिक धर्म
धर्म-अध्यात्म आर्य कवि श्री वीरेन्द्र राजपूत और उनकी साहित्य साधना May 24, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य, श्री वीरेन्द्र कुमार राजपूत हिन्दी भाषा के कवि हैं जिन्होंने वैदिक साहित्य व कुछ आर्य वीर महापुरुषों पर अपनी काव्यमयी रचनायें की हैं। एक व्यक्ति ईश्वर प्रदत्त अपनी प्रतिभा को जानकर कितना कार्य कर सकता है, इसका ज्ञान उनकी कृतियों से होता है। यदि वह कविता के क्षेत्र मे न आते तो […] Read more » आर्य कवि आर्य कवि श्री वीरेन्द्र राजपूत श्री वीरेन्द्र राजपूत साहित्य साधना
विविधा ईश्वर की पूजा उपासना में भेदभाव एवं हिंसा अनुचित May 22, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य देहरादून से लगभग 70 किमी. की दूरी पर चकराता नाम का एक सुन्दर व प्रसिद्ध पर्वतीय स्थान है। इसके अन्तर्गत जौनसार बाबर क्षेत्र के एक स्थान ‘पुनाह पोखरी’ स्थित ‘शिलगुर मन्दिर’ में हमारे पुराने मित्र व राज्यसभा सांसद श्री तरुण विजय के नेतृत्व में दलितों ने मन्दिर में सामूहिक रूप से प्रवेश […] Read more » Featured M P Tarun Vijay ईश्वर की पूजा उपासना भेदभाव हिंसा अनुचित
धर्म-अध्यात्म पंडित चमूपति द्वारा अमर दयानन्द का स्तवन May 21, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य पंडित चमूपति आर्यसमाज के विलक्षण विद्वान सहित हिन्दी, संस्कृत, अंग्रेजी, उर्दू, अरबी व फारसी आदि अनेक भाषाओं के विद्वान थे। आपने कई भाषाओं में अनेक प्रसिद्ध ग्रन्थों की रचना की है। गुरुकुल में अध्यापन भी कराया, आर्य प्रतिनिधि सभा पंजाब के उपदेशक व प्रचारक भी रहे। सोम सरोवर, चौदहवीं का चांद, जवाहिरे […] Read more » दयानन्द का स्तवन पंडित चमूपति
धर्म-अध्यात्म शिकागो अमेरिका के विश्व धर्म सम्मेलन में वैदिक धर्म का डंका बजाने वाले आर्य विद्वान पंडित अयोध्या प्रसाद May 21, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य वैदिक साधन आश्रम तपोवन, देहरादून के ग्रीष्मोत्सव में यमुनानगर निवासी प्रसिद्ध आर्य विद्वान श्री इन्द्रजित् देव पधारे हुए थे। हमारी उनसे कुछ विषयों पर चर्चा हुई। स्वामी विवेकानन्द का विषय उपस्थित होने पर उन्होंने हमें पंडित अयोध्या प्रसाद वैदिक मिशनरी जी पर एक लेख लिखने की प्रेरणा की। उसी का परिणाम यह […] Read more » आर्य विद्वान पंडित अयोध्या प्रसाद
चिंतन धर्म-अध्यात्म नारियां शुभ, शोभा, शोभनीयता गुणों से सुशोभित हों : ऋग्वेद May 20, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य हम सन् 1970 व उसके कुछ माह बाद आर्यसमाज के सम्पर्क में आये थे। हमारे कक्षा 12 के एक पड़ोसी मित्र स्व. श्री धर्मपाल सिंह आर्यसमाजी थे। हम दोनों में धीरे धीरे निकटतायें बढ़ने लगी। सायं को जब भी अवकाश होता दोनों घूमने जाते और यदि कहीं किसी भी मत व संस्था […] Read more » नारियां शुभ नारियां शोभनीयता गुणों से सुशोभित हों शोभा
कविता साहित्य बाल हकीकत राय May 20, 2016 | Leave a Comment धन्य-धन्य हे बाल हकीकत, धन्य-धन्य बलिदानी। देगी नवजीवन जन-जन को, तेरी अम र कहानी।। प्राण लुटाए निर्भय होकर, धर्म प्रेम की ज्वाला फूंकी। तुझे प्रलोभन देकर हारे, सकल क्रूर मुल्ला अज्ञानी।। नश्वर तन है जीव अमर यह, तत्व ज्ञान का तूने जाना। तेरी गौरव गाथा गा गा, धन्य हुई कवियों की वाणी।। गूंज उठे धरती […] Read more » बाल हकीकत राय
धर्म-अध्यात्म मैं इष्ट वरदान देने वाली वेदमाता की स्तुति करता हूं May 10, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य अथर्ववेद ईश्वर प्रदत्त ज्ञान है। सृष्टि के आरम्भ में अंगिरा ऋषि को ईश्वर ने अथर्ववेद का ज्ञान दिया था। 20 काण्डो वाले अथर्ववेद में कुल 731 सूक्त और 5977 मन्त्र हैं। उन्नीसवीं शताब्दी व उसके बाद अथर्ववेद के हिन्दी भाष्यकारों में पं. क्षेमकरणदास त्रिवेदी, पण्डित विश्वनाथ विद्यालंकार, पं. जयदेव शर्मा विद्यालंकार, पद्मविभूषण […] Read more » वेदमाता की स्तुति
धर्म-अध्यात्म आर्यसमाज की स्थापना के समय ऋषि दयानन्द द्वारा व्यक्त की गई आशंका May 10, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य महर्षि दयानन्द ने 10 अप्रैल, सन् 1875 के दिन मुम्बई के गिरगांव मोहल्ले में प्रथम आर्य समाज की स्थापना की थी। वर्तमान में यह आर्यसमाज काकाड़वाडी के नाम से प्रसिद्ध है। हमारा सौभाग्य है कि वर्ष, 1992 में एक बार हमें इस आर्यसमाज में जाने व वहां प्रातःकालीन यज्ञ में यजमान के […] Read more » आर्यसमाज आर्यसमाज की स्थापना
खेत-खलिहान सृष्टि का आरम्भ और कृषि विज्ञान May 9, 2016 / May 9, 2016 | Leave a Comment –मनमोहन कुमार आर्य ज्ञान और विज्ञान परस्पर पूरक शब्द हैं। वस्तुओं का साधारण ज्ञान सामान्य ज्ञान के अन्तर्गत आता है और उनका विशेष ज्ञान विज्ञान कहलता है। कृषि का तात्पर्य मनुष्यों के आहार के पदार्थो यथा फल, वनस्पतियां व अन्न आदि का अच्छा व गुणवत्तायुक्त प्रचुर मात्रा में उत्पादन करने को कह सकते हैं। सृष्टि […] Read more » कृषि विज्ञान सृष्टि का आरम्भ
विविधा मां और मातृभूमि स्वर्ग से भी बढ़कर हैं May 8, 2016 | Leave a Comment अंतर्राष्ट्रीय मातृत्व दिवस 8 दिसम्बर के उपलक्ष्य में मनमोहन कुमार आर्य 8 मई, 2016 को मातृत्व दिवस है। माता की महत्ता को रेखांकित करने के लिए यह पर्व अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर मनाया जाता है। आज के संसार में मनुष्य का जीवन ऐसा व्यस्त हो गया है कि लगता है कि हम स्वयं को ही भूल […] Read more » Featured mother and motherland more than heaven mother day मां और मातृभूमि
धर्म-अध्यात्म सृष्टि उत्पत्ति विषयक वैदिक सिद्धान्त और महर्षि दयानन्द May 6, 2016 | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य सृष्टि की उत्पत्ति के विषय में महाभारत काल के बाद उत्पन्न मत-मतान्तरों के साहित्य में अनेक प्रकार की अवैज्ञानिक व अविश्वनीय विचार पायें जाते हैं। महर्षि दयानन्द इन सबमें अपवाद हैं। उनके जीवन में शिवरात्रि को घटी चूहे की घटना बताती है कि उन्होनें किशोरावस्था में ही जीवन की सभी बातों को […] Read more » महर्षि दयानन्द सृष्टि उत्पत्ति विषयक वैदिक सिद्धान्त