समाज जाट आरक्षण आंदोलन : सुलगते सवाल March 6, 2016 तनवीर जाफ़री पिछले दिनों देश का सबसे खुशहाल एवं प्रगतिशील समझा जाने वाला हरियाणा राज्य जाट आरक्षण आंदोलन के नाम पर भीड़तंत्र का शिकार हो गया। महाभारत की इस ऐतिहासिक धरती को वैसे तो सांप्रदायिक सद्भाव,फसलों की अच्छी पैदावार तथा दूग्ध उत्पादन के लिए जाना जाता है। इस राज्य का प्रमुख नारा भी यही है- […] Read more » Featured जाट आरक्षण आंदोलन जाट आरक्षण आंदोलन सुलगते सवाल सुलगते सवाल
मीडिया विविधा अंधेरे में लोकतंत्र का ‘चौथा स्तंभ’ ? February 29, 2016 | Leave a Comment तनवीर जाफ़री देश के स्वयंभू ‘लोकतंत्र के चौथे स्तंभ’ में एक भूचाल सा आया दिखाई दे रहा है। जिस मीडिया से आम जनता यह अपेक्षा रखती है कि वह उसके सामने समाचारों को निष्पक्षता के साथ पेश करेगा और किसी समाचार या घटना की निष्पक्ष प्रस्तुति के पश्चात यह निर्णय जनता के विवेक पर छोड़ […] Read more » Featured fourth pillar of democracy is in darkness अंधेरे में लोकतंत्र का ‘चौथा स्तंभ’ ?
विविधा सियाचिन बने शांति का प्रतीक February 15, 2016 | Leave a Comment तनवीर जाफ़री भारत-पाकिस्तान नियंत्रण रेखा के क्षेत्र में हिमालय पर्वत के कराकोरम रेंज में समुद्र की सीमा से लगभग 19000 फीट की ऊंचाई पर स्थित सियाचिन क्षेत्र इन दिनों एक बार फिर सुर्खियों में छाया हुआ है। इस दुर्गम,बर्फीले क्षेत्र में शीत ऋतु में तापमान -50 डिग्री से लेकर माईनस -60 डिग्री तक पहुंच जाता […] Read more » Featured शांति का प्रतीक सियाचिन सियाचिन बने शांति का प्रतीक
जन-जागरण विविधा देश को ‘भीड़तंत्र का शिकार होने से बचाओ February 7, 2016 | Leave a Comment तनवीर जाफ़री पूरे विश्व को अहिंसा,शांति तथा सद्भाव की शिक्षा देने वाला हमारा देश कभी-कभी कुछ ऐसी घटनाओं का शिकार हो जाता है या सुनियोजित ढंग से ऐसे रास्ते पर ढकेल दिया जाता है जिससे न केवल देश का सद्भावपूर्ण वातावरण कुछ समय के लिए तार-तार होता दिखाई देने लगता है बल्कि इसकी धमक दूसरे […] Read more » Featured देश को ‘भीड़तंत्र का शिकार होने से बचाओ भीड़तंत्र
राजनीति मिले तो सम्मान अन्यथा मज़ाक़? February 1, 2016 | Leave a Comment तनवीर जाफ़री पिछले दिनों भारत सरकार द्वारा विभिन्न क्षेत्रों की देश की 112 हस्तियों को पद्म सम्मान दिए जाने की घोषणा की गई। सर्वप्रथम इन सभी सम्मान प्राप्त कर्ताओं को मेरी हार्दिक बधाई। इसमें कोई शक नहीं कि पद्म पुरस्कारों को जिसमें पदमश्री, पदमभूषण तथा पद्मविभूषण जैसे सर्वोच्च पुरस्कार शामिल हैं तथा इनके अतिरिक्त भारत […] Read more » Anupam Kher Featured मिले तो सम्मान अन्यथा मज़ाक़?
समाज यह देखना है कि पत्थर कहां से आया है? January 25, 2016 | 1 Comment on यह देखना है कि पत्थर कहां से आया है? तनवीर जाफ़री देश में बढ़ती जा रही असहिष्णुता को लेकर इन दिनों राजनैतिक हल्क़ों में एक बड़ी बहस छिड़ी हुई है। हालांकि देश में असहिष्णुता बढऩे का आरोप लगाने वाले अधिकांश लोग देश के बहुसंख्य समुदाय के ही हैं। इनमें तमाम लेखक,बुद्धिजीवी,फ़िल्मकार,उद्योगपति,राजनेता, तथा बौद्धिक वर्ग के लोग शामिल हैं। परंतु यदि अल्पसंख्यक समाज का कोई […] Read more » Featured icreasing intolerance in soiety यह देखना है कि पत्थर कहां से आया है?
मीडिया विविधा कर्तव्यों व जि़म्मेदारियों पर भारी पड़ती टीआरपी की होड़ January 3, 2016 / January 3, 2016 | 1 Comment on कर्तव्यों व जि़म्मेदारियों पर भारी पड़ती टीआरपी की होड़ तनवीर जाफ़री मीडिया को समाज का दर्पण माना जाता है। हमारे भारतीय लोकतंत्र मे तो इसे गैर संवैधानिक तरीक़े से ही सही परंतु इसकी विश्वसनीयता तथा जि़म्मेदारी के आधार पर इसे लोकतंत्र के चौथे स्तंभ की संज्ञा से नवाज़ा गया है। अख़बारों में छपने वाली खबरें अथवा रेडियो या टीवी पर प्रसारित होने वाले समाचार […] Read more » Featured कर्तव्यों व जि़म्मेदारियों पर भारी पड़ती टीआरपी की होड़
राजनीति भारतीय मुसलमान कितने राष्ट्रवादी? December 28, 2015 | 3 Comments on भारतीय मुसलमान कितने राष्ट्रवादी? तनवीर जाफ़री भारतवर्ष में 2011 की जनगणना के आंकड़ों के अनुसार जहां इस देश में हिंदू धर्मावलंबियों की संख्या 79.8 प्रतिशत है वहीं इस देश में रहने वाले मुसलमानों की जनसंख्या 14.2 प्रतिशत है। गोया भारत में अल्पसंख्यक समुदाय समझे जाने वाले धर्मों में मुस्लिम अल्पसंख्यक समाज की तादाद सबसे अधिक है। यही वजह है […] Read more » Featured indian muslims nationalist भारतीय मुसलमान राष्ट्रवादी?
मीडिया अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर… December 13, 2015 | 1 Comment on अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर… तनवीर जाफ़री मानवाधिकारों संबंधित अनेक बिंदुओं में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता भी एक प्रमुख बिंदु है। अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का सम्मान किया भी जाना चाहिए। किसी भी देश की लोकतांत्रिक व्यवस्था का यह एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। जहां कहीं लोगों को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता नहीं होती उस व्यवस्था को तानाशाही व्यवस्था माना जाता है। परंतु इसी […] Read more » Featured अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता
राजनीति पहले तोलें फिर बोलें ! December 6, 2015 | Leave a Comment तनवीर जाफ़री वैसे तो विभिन्न धर्मों के तथाकथित धर्मगुरू जिन्हें प्राय: अपने धर्म तथा अपने ही धर्म से संबंधित धर्मग्रंथों की ही आधी-अधूरी जानकारी रहती है वे आए दिन कोई न कोई ऐसे विवादित तथा बेतुके बयान देते रहते हैं जिन्हें सुनकर समाज में बेचैनी फैल जाती है। परंतु ऐसे धर्मगुरु हैं कि अपनी कथित […] Read more » Featured पहले तोलें फिर बोलें !
विविधा समाज ‘हुसैनियत’ ही है ‘यज़ीदियत’ का उपयुक्त जवाब November 29, 2015 | 3 Comments on ‘हुसैनियत’ ही है ‘यज़ीदियत’ का उपयुक्त जवाब तनवीर जाफ़री इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक़ एंड सीरिया अर्थात् आईएसआईएस का आतंक तथा इस्लाम के नाम पर इनके द्वारा लिखा जाने वाला क्रूरता का अब तक का सबसे काला अध्याय एक बार फिर करबला की दस मोहर्रम इकसठ हिजरी अर्थात् 680 ईसवी की उस घटना की याद को ताज़ा कर रहा है जिसमें हज़रत मोहम्मद […] Read more » ‘हुसैनियत ‘हुसैनियत’ ही है ‘यज़ीदियत’ का उपयुक्त जवाब Featured यज़ीदियत
विविधा विश्ववार्ता क्रिया की प्रतिक्रिया का फ़लसफ़ा ग़ैर इस्लामी परंतु… November 23, 2015 | 1 Comment on क्रिया की प्रतिक्रिया का फ़लसफ़ा ग़ैर इस्लामी परंतु… तनवीर जाफ़री फ़्रांस की राजधानी पेरिस गत् 13 नवंबर की शाम को एक बार फिर आतंकवादियों के हमले से थर्रा उठी। 26/11 को मुंबई में एक साथ कई स्थानों पर हुए आतंकी आक्रमण की तर्ज पर ही पेरिस के केंद्र में स्थित चार ठिकानों पर एक साथ आत्मघाती हमले किए गए। जिसमें घटनास्थल पर ही […] Read more » Featured आईएस आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट क्रिया की प्रतिक्रिया ग़ैर इस्लामी