काला धन वापस लाने से ज्यादा स्रोत का पता लगाना जरूरी

0
175

-रमेश पाण्डेय-
black-money

स्विस बैंकों में भारतीयों द्वारा जमा किए जा रहे धने का वापस लाने से ज्यादा जरुरत इस बात की है कि इस प्रकार के धन की कमाई करने वालों का जरिया क्या है। सरकार को ऐसे लोगों पर कठोर कार्रवाई किए जाने की जरुरत है। जब तक सरकार इस दिशा में सकारात्मक कदम नहीं उठाएगी, तब तक यह खेल चलता रहेगा और राजनीतिक दल काला धन वापस लाने के मुद्दे को लेकर राजनीति करते रहेंगे। स्विट्जरलैंड के 80 बैंकों में भारतीय खाताधारकों के लगभग 14,000 करोड़ रुपए जमा हैं। स्विस बैंकों की केंद्रीय संस्था स्विस नेशनल बैंक द्वारा जारी किए गए 2013 के आंकड़ों के अनुसार, 2012 में लगभग 9,500 करोड़ जमा थे। उस हिसाब से यह 40 फीसदी की बढ़ोतरी है। इस धन में तकरीबन 10 हजार करोड़ अन्य धन श्रेणी में है, जिसे ब्लैक बुक्स आंकड़े भी कहा जाता है। ऐसे धन के स्रोतों का पता लगाना बहुत कठिन होता है। इन आंकड़ों में वह भारतीय धन शामिल नहीं है, जिसे टैक्स हेवेन कहे जानेवाले देशों के जरिये स्विस बैंकों में पहुंचाया गया है या जो खाताधारकों के फर्जी सूचनाओं के आधार पर जमा किया गया है। एक तरफ भारतीयों द्वारा स्विस बैंकों में जमा धन में वृद्धि हो रही है, वहीं अन्य देशों से आ रहे धन में भारी गिरावट हो रही है। इन बैंकों में 2013 में पूरी दुनिया के खाताधारकों के 90 हजार करोड़ रुपए हैं, जो पिछले कई वर्षों की तुलना में बहुत कम है। 2012 में भारतीयों द्वारा जमा धन में भी भारी कमी आयी थी। 2012 में ब्लैक बुक्स श्रेणी का धन करीब 6,200 करोड़ था। यह वही वर्ष था, जब देश में काले धन को लेकर व्यापक आंदोलन चल रहे थे और सर्वोच्च न्यायालय भी इस मसले पर सक्रिय हो रहा था।

सरकार के कठोर कदमों की आशंका से धनकुबेरों ने स्विस बैंकों से कुछ हद तक किनारा कर लिया था, लेकिन इन सूचनाओं से एक संकेत यह भी निकलता है कि पिछली सरकार की ढिलाई से धन ले जानवाले लोगों की हिम्मत बढ़ी और इस धन में पिछले कुछ वर्षों में हुए भारी घोटालों की रकम भी शामिल हो सकती है। कुछ वर्षो से स्विट्जरलैंड पर भारत सहित कई देशों का दबाव है कि वह अपने यहां जमा हो रहे काले धन को लेकर पारदर्शिता बरते और सरकारों को कर चोरों को पकड़ने में मदद करे, लेकिन इस संबंध में कोई सकारात्मक परिणाम नहीं निकल सका है। भारतीयों द्वारा विदेशों में जमा काले धन की राशि का कोई आधिकारिक आकलन नहीं है, पर इस संबंध में शोध करनेवाली संस्था ग्लोबल फाइनेंसियल इंटेग्रिटी के अनुसार हर दिन देश से 240 करोड़ रुपए बाहर भेजे जा रहे हैं।

1 COMMENT

  1. अभी कुछ दिनों पहले मैंने फेश बुक पर एक टिप्पणी पोस्ट की थी.उसको मैं यहाँ उद्धृत कर रहा हूँ:
    “मेरे विचार से विदेशों से काला धन वापस लाना या न लाना आम भारतीयों के लिए जी बहलाने का एक शाश्वत साधन है.क्या किसीने कभी यह सोचने का कष्ट उठाया कि यह काला धन आता कहाँ से है और क्यों नहीं उसके स्रोत को ही काटा जाता?. मेरे विचार से विदेशों में जमा काला धन उसका शतांश भी नहीं है,जितना कालाधन यहाँ एक वर्ष में पैदा होता हैया जो समानतंतर अर्थ व्यवस्था में शामिल है”
    मेरे विचार से जब तक इस बात पर गंभीरता पूर्वक विचार नहीं किया जाएगा कि काले धन को उत्पन्न होने से कैसे रोका जाए,तब तक इस समस्या का समाधान असंभव है..

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

* Copy This Password *

* Type Or Paste Password Here *

17,871 Spam Comments Blocked so far by Spam Free Wordpress