विविधा प्रियंका योशीकावा: नस्लभेद मानवता का अभिशाप September 7, 2016 by ललित गर्ग | Leave a Comment ललित गर्ग – जिसमें हम जीते हैं, वह है सभ्यता और जो हममें जीती है वह है संस्कृति। संस्कृति ने अपने जीने का सबसे सुरक्षित स्थान मानव मस्तिष्क, मानव मन एवं मानव शरीर चुना और मानवीय मूल्यों का वस्त्र धारण किया, पर आज मानव उन मूल्यों को अनदेखा कर रहा है, तोड़ रहा है। मात्र […] Read more » Featured नस्लभेद प्रियंका योशीकावा मानवता का अभिशाप