कविता
भारतवर्ष को अखंड बनाएंगे
/ by विनय कुमार'विनायक'
—विनय कुमार विनायकजाति-वर्ण व्यवस्था को तोड़ेंगे,हम हिन्दू मिल जुलकर रहेंगे,धर्म सुधार अभियान चलाएंगे,समस्त बुराई से मुख मोड़ेंगे! हिमाद्रि से कन्याकुमारी तक,हम हिन्दू भाईयों को जोड़ेंगे,हम स्वजनों को नहीं छोड़ेंगे,मातृजाति को शिक्षित करेंगे! हम तिलक दहेज नहीं लेंगे,पराए धन से परहेज़ करेंगे,बहन बेटियों के परिणय में,तन-मन-धन से मदद करेंगे! हम मृत्यु भोज प्रथा रोकेंगे,मृतक परिवारों के […]
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