धर्म-अध्यात्म विविधा पिण्डदान से ज्यादा जरूरी है जीते जी आसक्ति का त्याग June 27, 2015 by डॉ. दीपक आचार्य | Leave a Comment डॉ. दीपक आचार्य बात अपनी हो या अपने किसी परिजन, ईष्ट मित्र या सहयोगियों की। लागू सभी पर होती है। आमतौर पर हर इंसान की यही इच्छा होती है कि मरने के बाद उसकी उत्तर क्रिया, पिण्डदान, गंगा में अस्थि विसर्जन, तमाम प्रकार के श्राद्ध और तिथियों पर जो कुछ करना है उसमें कहीं […] Read more » Featured आसक्ति का त्याग पिण्डदान