कविता सीखो निषाद को भाई भीलनी को मां बनाना October 31, 2020 / October 31, 2020 by विनय कुमार'विनायक' | 1 Comment on सीखो निषाद को भाई भीलनी को मां बनाना —विनय कुमार विनायकभारत कभी नहीं हारा है, अरि की सेना से,भारत सर्वदा ही हारा है जातिवादी घृणा से! जबसे हमने जातीय श्रेष्ठता पर दंभ किया,दूसरों को तुच्छ और खुद को महंत किया! दूरियां बढ़ती ही गई भाईयों का भाईयों से,राम ने कहा सद्गुण सीखो अताताईयों से! अग्रज का धर्म नहीं है बड़प्पन पर इतराना,अग्रज का […] Read more » Learn Nishad to make brother Bhilani a mother सीखो निषाद को भाई भीलनी को मां बनाना