धर्म-अध्यात्म अग्निहोत्र यज्ञ एवं इससे वर्तमान में होने वाले रोगमुक्ति आदि अनेक लाभ May 18, 2021 / May 18, 2021 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment -मनमोहन कुमार आर्यअग्निहोत्र यज्ञ से होने वाले लाभों में अनागत रोगों से बचाव, प्राप्त रोगों का दूर होना, वायु-जल की शुद्धि, ओषधि-पत्र-पुष्प-फल-कन्दमूल आदि की पुष्टि, स्वास्थ्य, दीर्घायुष्य, बल, इन्द्रिय-सामर्थ्य, पाप-मेाचन, शत्रु-पराजय, तेज, यश, सदविचार, सत्कर्मों में प्रेरणा, गृह-रक्षा, भद्र-भाव, कल्याण, सच्चारित्र्य, सर्वविध सुख आदि लाभ प्राप्त होते हैं। वन्ध्यात्व-निवारण, पुत्र-प्राप्ति, वृष्टि, बुद्धिवृद्धि, मोक्ष आदि फलों […] Read more » Agnihotra Yagna and many benefits of the disease अग्निहोत्र यज्ञ
धर्म-अध्यात्म ईश्वर की आज्ञा पालन के लिये सबको अग्निहोत्र यज्ञ करना चाहिये October 19, 2020 / October 19, 2020 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment -मनमोहन कुमार आर्यपरमात्मा इस संसार का स्वामी है। उसी ने इस संसार को बनाया और वही संसार का पालन कर रहा है। इस संसार को बनाने का उद्देश्य परमात्मा द्वारा अनादि तथा नित्य जीवों को उनके पूर्वजन्मों के अनुसार उनके योग्य प्राणी योनियों में जन्म देना, उनके कर्मों के अनुसार उन्हें सुख व दुःख देना, […] Read more » Everyone should perform Agnihotra Yagya to obey God. अग्निहोत्र यज्ञ
धर्म-अध्यात्म अग्निहोत्र यज्ञ से आध्यात्मिक लाभों की प्राप्ति होकर जीवन स्वस्थ रहता है February 16, 2020 / February 16, 2020 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment –मनमोहन कुमार आर्य ईश्वरीय ज्ञान वेद में मनुष्यों को अग्निहोत्र यज्ञ करने की आज्ञा है। अग्निहोत्र यज्ञ में गोघृत व चार प्रकार के पदार्थों की आहुतियां यज्ञ में दी जाती हैं। यह चार पदार्थ गोघृत के अतिरिक्त सोमलता, गिलोय, गुग्गल, सूखे फल नारीयल, बादाम, काजू, छुआरे आदि ओषधियां, मिष्ट पदार्थ शक्कर तथा सुगन्धित द्रव्य […] Read more » Agnihotra Yajna अग्निहोत्र यज्ञ
धर्म-अध्यात्म “मनुष्य का कर्तव्य सृष्टि के अनादि पदार्थों के सत्यस्वरूप एवं अपने कर्तव्यों को जानना है” November 29, 2018 / November 29, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य, मनुष्य जन्म लेकर माता-पिता व आचार्यों से विद्या ग्रहण करता है। विद्या का अर्थ है कि सृष्टि में विद्यमान अभौतिक व भौतिक पदार्थों के सत्यस्वरूप को यथार्थरूप में जानना और साथ ही अपने कर्तव्य कर्मों को जानकर उनका आचरण करना। संसार में मनुष्यों की जनसंख्या 7 अरब से अधिक बताई जाती है। […] Read more » अग्निहोत्र यज्ञ अजन्मा अनन्त उपासना दयालु धर्त्ता निराकार न्यायकारी माता पिता सब सृष्टि का कर्त्ता सर्वव्यापक सर्वशक्तिमान् हर्त्ता
धर्म-अध्यात्म ‘जन्म-मृत्यु रहस्य’ August 30, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य, हम संसार में मनुष्य जन्म और मृत्यु दोनों को समय समय पर होते देखते हैं। यदि हम अपने परिवार के सदस्यों पर विचार करें तो हमें ज्ञात होता है कि हमारे माता, पिता हैं, उनके माता-पिता भी होते हैं या रहे होंगे और जिन्हें हम दादा-दादी कहते थे उनके भी माता-पिता अर्थात् […] Read more » Featured अग्निहोत्र यज्ञ ईश्वरोपासना परोपकार व्याप्य-व्यापक सर्वज्ञ-अल्पज्ञ स्वामी-सेवक
धर्म-अध्यात्म अग्निहोत्र यज्ञ व इससे होने वाले लाभों पर विचार December 23, 2017 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य वैदिक धर्मी आर्यों के पांच दैनिक कर्तव्य हैं जिन्हें ऋषि दयानन्द जी ने भी पंचमहायज्ञ नाम से स्वीकार किया है। उन्होंने पंचमहायज्ञविधि नाम से एक पुस्तक भी लिखी है। संस्कार विधि में इन यज्ञों का विधान किया गया है। स्वामी जी ने सत्यार्थप्रकाश में सन्ध्या एवं देवयज्ञ अग्निहोत्र की चर्चा एवं इसके […] Read more » अग्निहोत्र अग्निहोत्र यज्ञ
धर्म-अध्यात्म ऋग्वेदादिभाष्यभूमिका ग्रन्थ में अग्निहोत्र यज्ञ का यथार्थ स्वरूप October 14, 2017 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य वैदिक साहित्य में ऋषि दयानन्द कृत ऋग्वेदादिभाष्यभूमिका ग्रन्थ का प्रमुख स्थान है। यह ग्रन्थ उनके चारों वेदों के भाष्य की भूमिका है जिसमें उन्होंने वेदों में निहित कुछ महत्वपूर्ण विषयों का यथार्थ वैदिक स्वरूप प्रस्तुत किया है। इस ग्रन्थ का एक अध्याय है ‘पंचमहायज्ञविषयः’। इस अध्याय के आरम्भ में ऋषि दयानन्द ने […] Read more » अग्निहोत्र यज्ञ
चिंतन धर्म-अध्यात्म सन्ध्या व अग्निहोत्र यज्ञ का महत्व व लाभ October 9, 2017 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment सन्ध्या एक शास्त्रीय विधान है जिसका अनुष्ठान प्रत्येक स्त्री व पुरुष का कर्तव्य है। शैशव काल से माता-पिता के सान्निध्य से इसका आरम्भ हो जाता है। गुरुकुल व विद्यालयों में बच्चे अपने आचार्य के सान्निध्य में इसे करते हैं और गृहस्थ व अन्य आश्रमों में रहते हुए इसे प्रातः व सायं दोनों समय बिना […] Read more » Featured अग्निहोत्र यज्ञ अग्निहोत्र यज्ञ का महत्व सन्ध्या सन्ध्या का महत्व सन्ध्या का लाभ सन्ध्या लाभ