पीली सरसों का तेल दिलाएगा बीमारियों से निजात

– प्राचीन काल से ही भारत में सरसों को एक औषधि के रूप में उपयोग किया जाता है। आयुर्वेद में सरसों, उसके पत्तों और तेल के उपयोग से बने कई नुस्खे हैं। 16वीं शताब्दी के ग्रंथ आइन-ए-अकबरी में रोहिलखंड साम्राज्य में भी सरसों का उल्लेख है। प्राचीन मिस्र के मकबरों में सरसों के बीज विदाई की भेंट के तौर पर रखे जाते थे।  
डॉ. मनोज मुरारका, ऑयल रिसर्चर

सरसों का पौधा भारत का अत्यंत प्राचीन पौधा है। इसका जिक्र आयुर्वेद में भी मिलता है। सरसों दो तरह की होती है, पहली पीली और दूसरी काली। पीली सरसों सबसे अच्छी और इसका लेत स्वास्थ्यकर होता है। काली सरसों को राई भी कहा जाता है। लगभग 4000 ईसा पूर्व प्राचीन भारतीय किसानों ने सरसों की खेती शुरू कर दी थी। पुरातात्विक तथ्य बताते हैं कि सिंधु घाटी सभ्यता के मोहनजोदड़ो तथा हड़प्पा जैसे शहरों में सरसों और सरसों का तेल उपयोग किया जाता था। प्राचीन काल से ही भारत में सरसों को एक औषधि के रूप में उपयोग किया जाता है। आयुर्वेद में सरसों, उसके पत्तों और तेल के उपयोग से बने कई नुस्खे हैं। 16वीं शताब्दी के ग्रंथ आइन-ए-अकबरी में रोहिलखंड साम्राज्य में भी सरसों का उल्लेख है।
      सरसों और सरसों का तेल पाक कला में उपयोग होने के साथ साथ अपने औषधीय और परिरक्षक गुणों के कारण मसालों के मार्ग से तथा अन्य व्यापार मार्गों से मिस्र और फिर रोम, गॉल तथा यूनान तक पहुंचकर पूरी दुनिया में फैल गया। प्राचीन यूनानी चिकित्सा वैज्ञानिक जैसे हिप्पोक्रेट्स तथा पाइथागोरस ने भी सरसों के उपचारात्मक गुणों के बारे में दुनिया को बताया है। सरसों के तेल में एंटी इंफ्लेमेटरी, रोगाणुरोधी, कवकरोधी और जीवाणुरोधी गुण होते हैं। सरसों का तेल दर्द नाशक होता है। प्राचीन यूनान में इनका दांतों के दर्द के लिए औषध निर्देशन बताया जाता था। प्राचीन मिस्र में इसका उल्लेख है और उनके मकबरों में सरसों के बीज विदाई की भेंट के तौर पर रखे जाते थे।
     ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी की रिसर्च कहती है कि पीली सरसों का तेल खाने से कैंसर जैसे रोगों से लड़ने में मदद मिलती है। पीली सरसों के तेल में ऐसे बहुत से पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर में कैंसर की कोशिकाओं को बढ़ने से रोकने में मदद करते है। पीली सरसों के तेल में टोटल लिपिड, फैटी एसिड, टोटल सैचुरेटेड, टोटल मोनोअनसैचुरेटेड, टोटल पॉलीअनसैचुरेटेड जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं। पीली सरसों में प्रचुर मात्रा में फाइबर पाया जाता है। इसके सेवन से पेट से जुड़ी कई समस्याएं दूर होती जाती हैं। वहीं पेट भी लंबे समय तक भरा हुआ रहता है। शोध में इस बात का भी जिक्र किया गया कि एक चम्मच पीली सरसों के तेल का यदि रोजाना सेवन करते हैं तो व्यक्ति का मेटाबॉलिज्म दिन-प्रतिदिन मजबूत होता जाता है। इसके रोजाना सेवन से वेट लॉस में भी मदद मिलती है।
     पीली सरसों के तेल का सेवन सेहत के लिए बहुत ही ज्यादा बेहतरीन होता है। इसके रोजाना सेवन से स्वास्थ्य से जुड़ी कई समस्याएं दूर होती जाती हैं। वहीं ये वजन कम करने से लेकर कोलेस्ट्रॉल को कम करने में भी मदद करता है। इसका सेवन यदि रोजाना करते हैं तो आपको जल्दी-जल्दी भूख का अहसास नहीं होता है, क्योंकि इसमें फाइबर की मात्रा भरपूर होती है। इसके रोजाना सेवन से कोलेस्ट्रॉल की मात्रा कम होती जाती है। साथ ही ये हाई बीपी, पेट से जुड़ी कई समस्याओं को भी दूर करता है। रोजाना दो चम्मच पीली सरसों खाने से हार्ट अटैक, स्ट्रोक जैसी कई गंभीर बीमारियों का खतरा काफी हद तक कम हो जाता है।
     अगर आप वजन को कंट्रोल करना चाहते हैं तो पीली सरसों का सेवन बहुत ही ज्यादा लाभदायक होता है, क्योंकि ये फाइबर, विटामिंस, मिनरल्स, सेलेनियम, फास्फोरस के जैसे कई पोषक तत्वों से भरपूर होती है। वहीं इसमें कैलोरी की मात्रा भी न के बराबर होती है। इसका रोजाना सेवन करने से वेट कंट्रोल करने में बहुत ही ज्यादा मदद मिलती है। वेट कम करने के लिए पीली सरसों का सेवन रोजाना सुबह खाली पेट एक चम्मच करना लाभदायक होता है। दिल की सेहत को स्वस्थ बनाकर रखना चाहते हैं पीली सरसों का सेवन बहुत ही ज्यादा फायदेमंद होता है। इसके बीज को चबाने से शरीर में कोलेस्ट्रॉल लेवल नियंत्रण में रहता है। वहीं ये हार्ट अटैक के खतरे को भी दूर करता है।
     अगर आप दाद और खुजली की समस्या को दूर करना चाहते हैं तो पीली सरसों का सेवन बहुत ही लाभदायक होता है। इन समस्याओं को दूर करने के लिए आप रोजाना सरसों के तेल से मालिश कर सकते हैं। वहीं इसका सेवन रोजाना नाश्ते के बाद पानी के साथ भी कर सकते हैं। दाद-खुजली के अलावा त्वचा से जुड़ी कई समस्यायों को दूर करने में भी यह लाभकारी है। मौसम में तेजी से बदलाव होने के कारण व्यक्ति को अक्सर सर्दी-जुकाम जैसी कई समस्याएं बनी रहती हैं। इन्हें दूर करने के लिए रोजाना पीली सरसों को हल्का सा भूनकर इसका खाली पेट सेवन कर सकते हैं। इससे खांसी, फ्लू, गले में दर्द जैसी समस्याएं भी दूर हो जाएंगी। अगर आप बिल्कुल फिट रहना चाहते हैं तो पीली सरसों और उसके तेल का सेवन शुरू कर दीजिए।

डॉ. मनोज मुरारका

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