समाज आनन्द को जीने की पहल करें December 9, 2019 / December 9, 2019 by ललित गर्ग | Leave a Comment – ललित गर्ग – हर इंसान की चाहत होती है कि वह जीवन में मस्त, प्रसन्न एवं आनन्दित रहे, लेकिन यह इतना आसान भी नहीं है, इसीलिए कहा गया है कि ‘मस्ती इतनी सस्ती नहीं कि हर हस्ती को मिल जाए।’ अपनी सीमित आवश्यकता में मस्त रह सकने वाला ही असली मस्ती का हकदार हो […] Read more » live with happiness आनन्द
धर्म-अध्यात्म “सभी दुःखों से मुक्ति व आनन्दमय मोक्ष की प्राप्ति के चार साधन” November 2, 2018 / November 2, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य, मनुष्य को अपने पूर्वजन्म के शुभ कर्मों के परिणामस्वरूप परमात्मा से यह श्रेष्ठ चोला व शरीर मिला है। सब प्राणियों से मनुष्य का शरीर श्रेष्ठ होने पर भी यह प्रायः सारा जीवन दुःख व क्लेशों से घिरा रहता है। दूसरों लोगों को देख कर यह अपनी रुचि व सामर्थ्यानुसार विद्या प्राप्त कर […] Read more » अधिकानन्द अन्न आनन्द कर्म गुण जल न्यून आनन्द वायु सुभाषित स्वभाव
प्रवक्ता न्यूज़ “जीवात्मा और शरीर” July 16, 2018 / July 16, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment –मनमोहन कुमार आर्य, मनुष्य को मनुष्य इस लिये कहते हैं क्योंकि यह मननशील प्राणी है। मनन का अर्थ है कि मन की सहायता से हम अपने कर्तव्यों व गुण-दोष को जानकर गुणों का ग्रहण व दोषों का त्याग करें। यदि हम मनन करना छोड़ देते हैं और काम, क्रोध, लोभ में फंस कर स्वार्थ […] Read more » “जीवात्मा और शरीर” Featured अनिच्छा अप्रसन्नता आनन्द ऋषि दयानन्द पहिचानना पुरुषार्थ बल मनुष्य विलाप विवेक वैर