गौ माता की पूजा कर लो इससे बड़ी नहीं कोई पूजा जी

—विनय कुमार विनायक
गौ माता की पूजा कर लो इससे बड़ी नहीं कोई पूजा जी,
अपनी मां के बाद जो दूध पिलाए वही गौ माई दूजा जी!
गाय से भली भोली कोई पशु पक्षी नहीं है इस दुनिया में,
गाय से अच्छी कोई संगी साथी होती नहीं इस दुनिया में!

गाय हर घर में जाती, किसी से भेद-भाव नहीं कर पाती,
गाय किसी को नहीं सताती,रुखा सूखा भूसा चोकर खाती!
गाय अपने बच्चे को बंधा देख नहीं रोती कलपती रंभाती,
गाय बड़ी सीधी साधी, बाल्टी लोटा बर्तन भर दूध दुहाती!

गाय को नहीं मारो रे,गाय को उबारो रे,गाय बड़ी न्यारो रे,
गाय को जहां देखो,उसकी आंख की करुणा देखो प्यारो रे!
गाय को मत हत, गाय यादाश्त से मित्र शत्रु पहचान लेती,
गौ की अगली योनि मानव की होती कसाई को पहचानती!

गाय को नहीं खूँटे में बाँधो, गाय को नहीं रस्सी से छानो,
गाय को नहीं धर्म में सानो,गाय की नहीं चमड़ी को टानो!
गाय का जो दूध पीए, वे गाय के बच्चे गाय को मां मानो,
गाय को गोशाला में खुली छोड़ दो,गाय को माय सा जानो!

गाय से नहीं अमर्ष करना, गाय को देखकर सदा हर्ष करना,
गाय का व्यापार नहीं करना, माता सा सदा व्यवहार करना!
गौ की ना हत्या करना,गौ को मां सा स्वाभाविक मृत्यु देना,
गाय होती अहन्या,गाय की माय सा अंतिम संस्कार करना!

गाय को अपनी विधि से अग्नि संस्कार करना या दफनाना,
गाय का दूध मां का दूध सा पीला,ना लाल ना हरा बनाना!
गाय कथा पुराण में,गाय हिंद ईरान अरब यूरोप ब्रह्मांड में,
गाय सर्व समाज के हित उपयोगी,ज्ञान विज्ञान संविधान में!

गौ दुग्ध विटामिन ए बी सी डी इ से युक्त फैट रहित होता,
गाय श्वासोच्छवास में आक्सीजन देती,गाय दूध शुद्ध होता!
कैल्शियम पोटेशियम फास्फोरस गंधक व सोडियम से भरपूर,
देशी गौ की रीढ़ में सूर्यकेतु स्नायु,सूर्यातप बनाए स्वर्ण प्रचुर!

गौ घृत पौष्टिक, गाय घी हवन से वायु में बढ़ता आक्सीजन,
गौ दूध दही घी छाछ माखन मलाई से भलाई,मांस विषभक्षण!
गौ मूत्र गोबर हानिकारक वैक्टेरिया वाइरस नाशक मिटे कैंसर,
गौ दुग्ध में सोमलता घोंट पीनेवाले पुरखे हुए वीर अजर-अमर!

एक गाय जीवन भर में चार लाख मानव को दुग्धपान कराती,
छप्पनभोग मिष्ठान देती, गौ से बड़ी परोपकारी कौन मां होती?
रसायन से दूषित खेत की शुद्धि बिना गोबर खाद कैसे होगी?
रासायनिक प्रतिक्रिया से उत्पन्न जहर मानव को बनाता रोगी!

गोधन स्वर्गलोक की कामधेनु,कृष्ण के ब्रजमंडल की कपिला,
भारतीय-पाकिस्तान के हडप्पा-मोहनजोदडो से अद्यतन चला!
गोवंश दक्ष प्रजापति-विरणी की बेटी सुरभि-कश्यप से निकला,
गाय में तैंतीस कोटि देवता, गाय नंदिनी देवनी भौमा शबला!

गाय की छीना झपटी में ब्राह्मण वशिष्ठ, क्षत्रिय विश्वामित्र में
रार ठनी, दोनों ने एक दूजे का वंश उजाड़ दिए शत्रु बनकर के!
एक गाय कामधेनु की बत्सरी नंदिनी दिए थे, देवराज इन्द्र ने
वशिष्ठ को गोदान में,उक्त गाय के लिए द्वन्द्व हुआ दोनों में!

गाय के वास्ते मौसा सहस्रार्जुन को, सर-बेटा परशुराम ने मारे,
गौ हेतु ब्राह्मण परशुराम ने क्षत्रिय वंश को इक्कीसबार संहारे!
एक गाय के लिए परशुराम ने, अनेक मौसेरे भाईयों को काटे,
एक गाय के लिए परशुराम ने,क्षत्रिय रक्त से पांच कुण्ड पाटे!

पहले गाय के लिए जितना युद्ध हुआ,उतना युद्ध कभी नहीं,
मां बहन रोटी बेटी के लिए पहले से आज तक अभी भी नहीं!
गौ हरण के बाद गोष्ठी होती थी, फिर गाय की गवेषणा होती,
गौ से गोपति गौप्त गुप्त,गोप गोपाल ग्वाल गोपी उपाधि चली!

गौ सर्व देवमयी, गौ वेद मय,कृष्ण वाणी ‘धेनुनास्मि कामधेनु’,
भोलेनाथ का वाहन दक्षिणी अंगोल सांड,वृषभ चिह्न आदिनाथ!
बुद्ध थे गौतम,यशोधरा गोपा,गौतम बने तथागत क्षीर खा के,
गोपबाला सुजाता का,गोपाष्टमी,गोवर्धन पूजा होती गौ नाम से!

महावीर ने कहा गौ रक्षा के बिना मानव की रक्षा संभव नाहीं,
ईसा ने कहा एक गाय बैल की, हत्या बराबर एक मनुष्य की!
गुरु गोविंद सिंह ने कहा था ‘यही देहु आज्ञा तुरक को खपाऊँ,
गौमाता का दुःख सदा मिटाऊँ’,रणजीत सिंह मृत्युदंड विधायी!

‘मानुष हौं तो वही रसखानि बसौं ब्रज गोकुल गाँव के ग्वारन,
जो पसु हों तो कहा बसु मेरो,चरौं नित नंद की धेनु मंझारन!’
गाय वसुधा भर की मां के साथ की मां, मां के बाद भी मां,
गाय उमा रमा ब्रह्माणी, श्रद्धा हौआ मरियम सी, होती मां!
—विनय कुमार विनायक
दुमका,झारखंड-815101

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

* Copy This Password *

* Type Or Paste Password Here *

12,712 Spam Comments Blocked so far by Spam Free Wordpress