पर्यावरण लेख क्या संभव है सरकारी आदेश के बाद पालीथिन पर प्रतिबंध! July 25, 2022 / July 25, 2022 by लिमटी खरे | Leave a Comment जिलों में रस्म अदायगी के लिए होती है प्रतिबंधित पालीथिन पर कार्यवाही!लिमटी खरेविकास का पहिया लगातार ही घूम रहा है। विकास के साथ ही साथ परिवर्तन भी लोगों ने देखा है। वर्तमान प्रौढ़ हो रही पीढ़ी तो बहुत तेज गति से हुए परिवर्तन की साक्षात गवाह है। वैज्ञानिकों ने मृत्यु के रहस्य पर से पर्दा […] Read more » ban on polythene Need to ban single use plastic in India. single use plastic single use plastic ban
पर्यावरण लेख चिंता का सबब बनता वर्षा पैटर्न में आता बदलाव July 17, 2022 / July 17, 2022 by योगेश कुमार गोयल | Leave a Comment – योगेश कुमार गोयलमानसून की शुरूआत से ही इस साल देश के कई हिस्सों में मूसलाधार बारिश, बाढ़, बादल फटने, बिजली गिरने और भू-स्खलन से तबाही का सिलसिला अनवरत जारी है। पहाड़ों पर आसमानी आफत टूट रही है तो देश के कई इलाके बाढ़ के कहर से त्राहि-त्राहि कर रहे हैं। असम के बाद गुजरात […] Read more » ‘रेन वाटर हार्वेस्टिंग rain water harvesting चिंता का सबब बनता वर्षा पैटर्न में आता बदलाव
पर्यावरण समाज 50 हजार वन्यजीव प्रजातियाँ कर रहीं सेवा, अरबों लोग खा रहे मेवा July 11, 2022 / July 11, 2022 by निशान्त | Leave a Comment हर पांच में से एक व्यक्ति अपनी आमदनी और भोजन के लिये वन्यजीव प्रजातियों पर है निर्भर। इंसान के भोजन के लिये 10 हजार वन्यजीव प्रजातियों का होता है दोहनअक्सर ‘जैव-विविधता के लिये आईपीसीसी’ के तौर पर वर्णित की जाने वाली अंतर्राष्ट्रीय शोध एवं नीति इकाई आईपीबीईएस ने एक नयी रिपोर्ट जारी की है, जो कहती है- विकसित और विकासशील […] Read more » 50 हजार वन्यजीव प्रजातियाँ कर रहीं सेवा IPCC for Biodiversity
पर्यावरण लेख बड़ी चुनौती है नासूर बन चुके प्लास्टिक प्रयोग को नियंत्रित करना July 8, 2022 / July 8, 2022 by निर्मल रानी | Leave a Comment निर्मल रानी पॉलीथिन और प्लास्टिक का दिनोंदिन बढ़ता जा रहा उपयोग इस समय पूरे देश और देशवासियों के लिये विकराल समस्या का रूप धारण कर चुका है। पहले भी इसे नियंत्रित करने के कई असफल प्रयास हो चुके हैं परन्तु इसका उपयोग कम होना तो दूर और भी बढ़ता ही जा रहा है। तेज़ रफ़्तार […] Read more » The big challenge is to control the use of plastic which has become a canker. चुनौती है नासूर बन चुके प्लास्टिक प्रयोग को नियंत्रित करना
पर्यावरण लेख एनसीईआरटी द्वारा पर्यावरण पाठ्यक्रम में बदलाव कितना सही? July 7, 2022 / July 7, 2022 by निशान्त | Leave a Comment संयुक्त राष्ट्र के आंकड़ों पर नज़र डालें पता चलता है कि दुनिया भर में करीब 100 करोड़ बच्चों पर जलवायु परिवर्तन और प्रदूषण के बढ़ते प्रभावों का खतरा है। इस आंकड़ें में भारत की भी योगदान है और भारत समेत 33 देशों के बच्चों के स्वास्थ्य, शिक्षा और सुरक्षा पर यह जलवायु संकट मंडरा रहा है। […] Read more » Changes in Environment Curriculum by NCERT: How Right एनसीईआरटी द्वारा पर्यावरण पाठ्यक्रम में बदलाव
पर्यावरण लेख वन्य जीवों और पेड़ों के लिए अपनी जान पर खेलता बिश्नोई समाज June 29, 2022 / June 29, 2022 by डॉ. सत्यवान सौरभ | Leave a Comment -सत्यवान ‘सौरभ’ बिश्नोई आंदोलन पर्यावरण संरक्षण, वन्यजीव संरक्षण और हरित जीवन के पहले संगठित समर्थकों में से एक है। बिश्नोइयों को भारत का पहला पर्यावरणविद माना जाता है। ये जन्मजात प्रकृति प्रेमी होते हैं। पर्यावरण आंदोलनों के इतिहास में, यह वह आंदोलन था जिसने पहली बार पेड़ों को अपनी सुरक्षा के लिए गले लगाने और […] Read more »
पर्यावरण लेख सार्थक पहल भारत में सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध की जरूरत। June 25, 2022 / June 25, 2022 by प्रियंका सौरभ | Leave a Comment -प्रियंका ‘सौरभ’ सिंगल यूज प्लास्टिक से तात्पर्य उन प्लास्टिक वस्तुओं से है जो एक बार उपयोग की जाती हैं और त्याग दी जाती हैं। एकल-उपयोग प्लास्टिक में निर्मित और उपयोग किए गए प्लास्टिक के उच्चतम प्रयोग में वस्तुओं की पैकेजिंग से लेकर बोतलों, पॉलिथीन बैग, खाद्य पैकेजिंग आदि शामिल है। यह विश्व स्तर पर उत्पादित […] Read more » ban single use plastic Need to ban single use plastic in India. सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध
पर्यावरण लेख भारत और बांग्लादेश में हुई अत्यधिक वर्षा और बाढ़ सीधे तौर पर जलवायु परिवर्तन के कारण June 24, 2022 / June 24, 2022 by निशान्त | Leave a Comment भारत के उत्तर-पूर्व के क्षेत्रों में हुई भारी मॉनसून की बारिश और नदियों में उसके बाद बढ़े जलस्तर के कारण हाल ही में भारत और बांग्लादेश में सीमा से सटे कुछ प्रमुख क्षेत्रों में बाढ़ आई। इसके चलते लाखों लोग फंसे हुए हैं और एक मानवीय संकट पैदा हो रहा है। देश और विदेश में […] Read more » The excessive rainfall and floods in India and Bangladesh are directly due to climate change.
पर्यावरण लेख पर्यावरण में सुधार के बिना इस धरा का अस्तित्व ही खतरे में है अतः पत्थर फैंकने के स्थान पर बच्चों से पौधे रोपने को कहा जाना चाहिए June 16, 2022 / June 16, 2022 by प्रह्लाद सबनानी | Leave a Comment राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मध्य भारत प्रांत द्वारा पर्यावरण में सुधार के उद्देश्य से “प्लास्टिक मुक्त ग्वालियर” का आहवान करते हुए समाज के विभिन्न वर्गों, संस्थानों, स्कूलों, कालेजों एवं सरकारी विभागों को अपने साथ जोड़ते हुए ग्वालियर महानगर को प्लास्टिक मुक्त करने का संकल्प लिया गया है। इस अभियान के प्रथम चरण में ग्वालियर महानगर […] Read more » children should be asked to plant saplings.' so instead of throwing stones the very existence of this earth is in danger Without improving the environment त्थर फैंकने के स्थान पर बच्चों से पौधे रोपने को कहा जाना चाहिए
पर्यावरण लेख पर्यावरण संरक्षण : कहीं कोरी कवायद न रह जाए June 7, 2022 / June 7, 2022 by कृष्णमुरारी त्रिपाठी अटल | Leave a Comment ~कृष्णमुरारी त्रिपाठी अटल प्रत्येक वर्ष की भाँति विश्व पर्यावरण दिवस मनाने और उसका प्रचार-प्रसार करने के लिए समूचे विश्व सहित हम भी जी-तोड़ मेहनत करने में लग जाते हैं,किन्तु इसके इतर दिनों-दिन पर्यावरण की दुर्गति और उस पर आँखे मूँदकर सबकुछ सही मान लेने की प्रवृत्ति ने हमें प्रकृति के प्रति निर्दयी और कृतघ्न तो […] Read more » environment protection पर्यावरण संरक्षण
पर्यावरण लेख पर्यावरण संरक्षण से बचेगा मानव जीवन June 6, 2022 / June 6, 2022 by डॉ. सौरभ मालवीय | Leave a Comment विश्व पर्यावरण दिवस (5 जून) पर विशेष-डॉ. सौरभ मालवीयमानव जाति के संरक्षण के लिए पर्यावरण की सुरक्षा अत्यंत आवश्यक है। दिन-प्रतिदिन दूषित होते पर्यावरण की रक्षा एवं इसके संरक्षण के प्रति लोगों को जागरूक करने के उद्देश्य से प्रति वर्ष 5 जून को विश्व पर्यावरण दिवस मनाया जाता है। संयुक्त राष्ट्र द्वारा 1972 में इसकी […] Read more » Human life will be saved by environmental protection world environment day 05 ju विश्व पर्यावरण दिवस
पर्यावरण लेख पृथ्वी के अस्तित्व का आधार है पर्यावरण June 4, 2022 / June 4, 2022 by डॉ शंकर सुवन सिंह | Leave a Comment प्रकृति व मानव एक दूसरे के पूरक हैं। प्रकृति के बिना मानव की परिकल्पना नहीं की जा सकती। प्रकृति दो शब्दों से मिलकर बनी है – प्र और कृति। प्र अर्थात प्रकृष्टि (श्रेष्ठ/उत्तम) और कृति का अर्थ है रचना। ईश्वर की श्रेष्ठ रचना अर्थात सृष्टि। प्रकृति से सृष्टि का बोध होता है। प्रकृति अर्थात वह […] Read more » Environment is the basis of existence of earth पर्यावरण पृथ्वी के अस्तित्व का आधार पृथ्वी के अस्तित्व का आधार है पर्यावरण