विविधा उत्साह और उल्लास का पर्व: वसंत पंचमी February 9, 2011 / December 15, 2011 by विजय कुमार | Leave a Comment विजय कुमार बसंत ऋतु आते ही प्रकृति का कण-कण खिल उठता है। मानव तो क्या पशु-पक्षी तक उल्लास से भर जाते हैं। हर दिन नयी उमंग से सूर्योदय होता है और नयी चेतना प्रदान कर अगले दिन फिर आने का आश्वासन देकर चला जाता है। यों तो माघ का यह पूरा मास ही उत्साह देने […] Read more » Basant Panchami वसंत पंचमी
विविधा तीसरी दुनिया बनाम साम्राज्यवाद का चरागाह February 9, 2011 / December 15, 2011 by श्रीराम तिवारी | 1 Comment on तीसरी दुनिया बनाम साम्राज्यवाद का चरागाह श्रीराम तिवारी विगत दिनों मुंबई पोर्ट से दो समाचार एक जैसे आये. एक -विदेशी आयातित प्याज बंदरगाहों पर सड़ रही थी . कोई महकमा या सरकार सुध लेने को तैयार नहीं ;परिणामस्वरूप देश में निम्नआय वर्ग की थाली से प्याज लगभग गायब ही हो चुकी थी. दूसरा समाचार ये था कि पश्चिमी विकसित राष्ट्रों का […] Read more » Imperialism साम्राज्यवाद
विविधा यह क्या हो रहा है? February 9, 2011 / December 15, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment श्याम नारायण रंगा ‘अभिमन्यु’ लोकतंत्रात्मक व्यवस्था में जनता द्वारा शासन को सुचारू चलाने के लिए एक तंत्र का निर्माण किया जाता है और आमजन अपने इस तंत्र से उम्मीद करता है कि वह आमजन की परेशानी को समझे और उसको दूर करने के उपाय करे। लेकिन जब राज चलाने वाला यही तंत्र राज काज में […] Read more »
विविधा आत्मशोधन, आत्मनिरीक्षण और आत्मपरीक्षण February 9, 2011 / December 15, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment नंदलाल शर्मा आज के समय में गाँधी के आदर्श और उनके मूल्यों की जरूरत हर किसी को हो रही हैं। देश में बढ़ती हिंसा और अमीर गरीब के बीच बढ़ती खाई ने गाँधी के बताये रास्तों पर चलने वालों के माथे पर शिकन की लकीरें खींच दी हैं। आज गाँधी के ग्राम स्वराज की कल्पना […] Read more » Atmsodn आत्मशोधन
विविधा असुरक्षित युवा शक्ति February 7, 2011 / December 15, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment संजय सक्सेना इस समय देश ‘युवा’ सा लगता है। सभी राजनैतिक दलों में युवा नेताओं का बोलबाला है। बीते कुछ सालों की बात की जाए तो इसमें कोई संदेह नहीं है कि मल्टीनेशनल कम्पनियों ने भारतीय युवाओं के लिए काफी तादात में काम के नए अवसर प्रदान किए हैं।लोगो के जीवन स्तर बढ़ा है। शिक्षा […] Read more » Youth Power युवा शक्ति
विविधा भारतीय गणतंत्र के साठ वर्ष February 5, 2011 / December 15, 2011 by प्रभात कुमार रॉय | Leave a Comment प्रभात कुमार रॉय 26 जनवरी 2011 को भारतीय गणतंत्र ने अपने 60 वर्ष पूरे कर लिए और अपनी 61 वीं वर्षगाँठ का जश्न भी मना लिया। भारतीय गणतंत्र की सबसे महान उपलब्धि रही है कि देश में उठे समस्त झंझावातों के मध्य इसने स्वयं को बाकायदा कायम बनाए रखा है। जबकि भारत के पडौ़सी मुल्क […] Read more » 60 years of Indian REPUBLIC गणतंत्र
विविधा नोट उगलती तिजोरियां और मरते किसान February 5, 2011 / December 15, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment रवीन्द्र जैन मध्यप्रदेश में किसान पुत्र की सरकार में यह क्या हो रहा है? कर्ज से लदे किसान आत्महत्या कर रहे हैं और नेताओं अफसरों और उनके रिश्तेदारों की तिजोरियां नोट और सोना उगल रहीं हैं। राम के आदर्श और पं. दीनदयाल उपाध्याय के संदेश को लेकर सत्ता में आई भाजपा के शासनकाल में भ्रष्टाचार […] Read more » SUICIDING FARMERS किसान आत्महत्या मध्यप्रदेश
विविधा नशामुक्ति की दिशा में छग सरकार के बढ़ते कदम February 5, 2011 / December 15, 2011 by अशोक बजाज | 2 Comments on नशामुक्ति की दिशा में छग सरकार के बढ़ते कदम अशोक बजाज मुख्यमंत्री डा.रमन सिंह की अध्यक्षता में दिनांक 28.01.2011 को छत्तीसगढ़ कैबिनेट ने दो हजार की जनसंख्या वाले गांवों की 250 शराब दुकानों को 1 अप्रेल 2011 से बंद करने तथा शराब की अवैध बिक्री रोकने आबकारी एक्ट में कड़े प्रावधान करने का ऐतिहासिक फैसला लिया है .इस निर्णय से शासन को एक सौ […] Read more » deaddiction नशामुक्ति
विविधा जानने का अधिकार तो दे दिया पर जानने न दिया February 5, 2011 / December 15, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | 2 Comments on जानने का अधिकार तो दे दिया पर जानने न दिया पूजा श्रीवास्तव जी हां, मैं बात कर रही हूं भारत की तीसरी क्रांति के रूप में पहचाने जाने वाले सूचना के अधिकार कानून की स्थिति की……सन् 2005 में सूचना के अधिकार कानून का बनना सुशासन के इतिहास में भले ही एक अहम पन्ना जोडता है पर अगर ये कहा जाए कि ये कानून सफल रहा […] Read more » RTI सूचना का अधिकार
विविधा राजपथ से रामपथ पर: आचार्य गिरिराज किशोर February 4, 2011 / December 15, 2011 by विजय कुमार | Leave a Comment विजय कुमार विश्व हिन्दू परिषद के मार्गदर्शक आचार्य गिरिराज किशोर का जीवन बहुआयामी है। उनका जन्म 4 फरवरी, 1920 को एटा, उ.प्र. के मिसौली गांव में श्री श्यामलाल एवं श्रीमती अयोध्यादेवी के घर में मंझले पुत्र के रूप में हुआ। हाथरस और अलीगढ़ के बाद उन्होंने आगरा से इंटर की परीक्षा उत्तीर्ण की। आगरा में […] Read more » Rajpath rampath आचार्य गिरिराज किशोर
विविधा जनता के पैसों की होली खेलने वालों को सिखाना होगा सबक February 4, 2011 / December 15, 2011 by लिमटी खरे | Leave a Comment लिमटी खरे अस्सी के दशक के उपरांत भारत गणराज्य में भ्रष्टाचार की जड़ें तेजी से पनपना आरंभ हुईं थीं। तीस सालों में भ्रष्टाचार का यह बट वृक्ष इतना घना हो चुका है कि इसकी छांव में नौकरशाह, जनसेवक और मीडिया के सरपरस्त सुकून की सांसे ले रहे हैं, किन्तु आम जनता की सांसे इस पेड़ […] Read more » money of public जनता के पैसों की होली भ्रष्टाचार
विविधा विकराल चुनौती बन गई है आंतरिक सुरक्षा February 4, 2011 / December 15, 2011 by लिमटी खरे | Leave a Comment लिमटी खरे केंद्र और राज्यों की सरकारों के बीच समन्वय के अभाव का परिणाम आज साफ तौर पर देखने को मिल रहा है। अस्सी के दशक से आंतरिक सुरक्षा में गड़बड़ियां प्रकाश में आने लगी थीं। जम्मू काश्मीर के साथ ही साथ पंजाब, असम बुरी तरह सुलगा। कंेद्र सरकार ने इसके शमन के लिए प्रयास […] Read more » internal security a challenge आंतरिक सुरक्षा विकराल चुनौती बन गई है आंतरिक सुरक्षा