एनडीए सरकार : उतार चढ़ाव वाले दो साल

 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में चल रही केंद्र की एनडीए सरकार के दो साल पूरे होने वालेे हैं। इस दौरान देश में राजनीतिक उथल-पुथल होती रही। मोदी सरकार का ये दूसरा साल कई विवादों में भी घिरा रहा। वाबजूद इसके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता में कोई कमी नहीं आई। २६ मई को होने जा रहे एनडीए सरकार के दो साल में काफी कुछ देखने को मिला है और सरकार के इन दो सालों में काफी उतार-चढ़ाव आये हैं। 14 मई 2014 में आई एनडीए सरकार को लाने में पीएम मोदी की लोकप्रियता ने बखूबी अपना काम किया और इसी का परिणाम है कि आप पीएम मोदी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार आज देश की कमान सभाली है। नरेंद्र मोदी लंबेे समय तक गुजरात के मुख्यमंत्री रहने के बाद 2014 में आंधी की तरह केंद्र में आए और प्रधानमंत्री कार्यालय में प्रवेश कर इतिहास रच दिया। मोदी पहले गैर-कांग्रेसी नेता हुए जो प्रधानमंत्री की कुर्सी पर बैठे और संसद केे निचले सदन लोकसभा में पूर्ण बहुमत के साथ आए। मोदी की जीत भारत की जनता द्वारा दिया गया सिर्फ एक संदेश मात्र ही नहीं था। बल्कि इस जनादेश ने स्वतंत्रता के बाद से देश की सत्ता संभालनेे वाली कांग्रेस पार्टी को भी सोचने पर मजबूर कर दिया। इस जनादेश के तहत लोगों ने आधुनिक भारत को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने और देशवासियों के सपनों को साकार करने का वादा करने वाले नेता पर विश्वास दिखाया। एनडीए सरकार के दो साल पूरे होने के वाबजूद देश में मोदी लहर कायम है। आज भी लोगों के बीच मोदी उतने ही लोकप्रिय हैं जितना कि पहले थे। आज मोदी की गिनती देश के सबसे लोकप्रिय नेताओं में होती है। अप्रैल महीने में ईटी-टीएनएस द्वारा सात शहरों में किये गए सर्वे में मोदी की लोकप्रियता में कोई कमी नहीं आई। एबीपी-निल्सन द्वारा जनवरी महीने में 109 लोकसभा क्षेत्रों में किये गए सर्वे के दौरान 16,732 लोगों ने अपनी राय रखी। इनमें से सिर्फ 11 फीसद लोगों ने ही प्रधानमंत्री मोदी के प्रदर्शन को खराब बताया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल का दूसरा साल काफी उतार-चढ़ाव वाला रहा। इस वर्ष पीएम अर्थव्यवस्था के कारण सुर्खियों में नहीं रहे। यह साल अर्थव्यवस्था का नहीं रहा बल्कि यह वर्ष राजनीति का रहा, जिसने देश में हमेशा बदलाव किया। विपक्षी दलों के हमलों के बावजूद भारतीय जनता पार्टी अमित शाह और नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सफलतापूर्वक आगे बढ़ती रही। राष्ट्रीय पटल पर होने वाली चर्चाओं का भी वे लाभ लेते रहे।

पीएम ने विदेशों मे भी अपना पश्रिम लहराय । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी विकास गाथा का न सिर्फ देश में बल्कि विदेशों में भी खूब प्रचार किया।

विवादों से भी रहा पीएम का नाता। मोदी शासन के दूसरे साल में कई विवाद भी सामने आए। दादरी कांड, आइआइएफटी विवाद, असिष्णुता जैसे कई और मुद्दे रहे जिसने भाजपा सरकार को बैकफुट पर लाने का काम किया। हालांकि इन सभी मामलों में पीएम खामोश रहे। दूसरे साल हुए इन विवादों की वजह से भाजपा को बिहार विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा। विवादों के बीच रहते हुए मोदी सरकार ने कुछ ऐसा हामारे लिए ऐसे भी काम किए हैं जिस से हमें उनपर गर्व है। पीएम ने जनता के हित के बारे में सोचते हुए कई एसी योजनाएं हमारे बीच प्रस्तुत की हैं जिनसे इस देश अच्छे दिन आ सकें। पिछले दो सालों में मोदी सरकार ने कौन-कौन से महत्वपूर्ण फैसले लिए।

डिजिटल भारत: 21 अगस्त 2014 को ‘‘डिजिटल भारत’’ अभियान शुरु किया गया था। इस अभियान के पीछे मकसद था कि भारत को एक इलेक्ट्रिॉनिक अर्थव्यवस्था में बदला जाए।

धानमंत्री जन धन योजना: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 28 अगस्त 2014 को प्रधानमंत्री जन धन योजना की शुरुआत की। इस योजना की घोषणा उन्होंने 15 अगस्त 2014 को अपने पहले स्वतंत्रता दिवस भाषण में की थी।

स्वच्छ भारत अभियान: प्रधानमंत्री ने 24 सितंबर 2014 को स्वच्छ भारत अभियान को मंजूरी दी जो कि पिछली सरकार द्वारा शुरु किये गए निर्मल भारत कार्यक्रम का संशोधित स्वरुप था। स्वच्छ भारत अभियान को औपचारिक रुप से महात्मा गांधी की जयंती पर 2 अक्टूबर 2014 को शुरु किया गया।

मेक इन इंडिया: यह एक नारा है जिसे नरेन्द्र मोदी ने शुरु किया था जिससे भारत में वैश्विक निवेश और विनिर्माण आकर्षित किया जा सके। उसके बाद यह एक अंतर्राष्ट्रीय मार्केटिंग अभियान बन गया।

सांसद आदर्श ग्राम योजना: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 11 अक्टूबर 2014 को सांसद आदर्श ग्राम योजना की शुरुआत की। इस योजना के अनुसार हर सांसद को साल 2019 तक तीन गांवों को विकसित करना होगा।

अटल पेंशन योजना: वित्तमंत्री अरुण जेटली ने फरवरी 2015 के बजट भाषण में कहा था कि दुखद है कि जब हमारी युवा पीढ़ी बूढ़ी होगी उसके पास भी कोई पेंशन नहीं होगी। प्रधानमंत्री जन धन योजना की सफलता से प्रोत्साहित होकर वो सभी भारतीयों के लिए सार्वभौमिक सामाजिक सुरक्षा प्रणाली के सृजन का प्रस्ताव करता हैं।

बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ: जन-धन योजना, मेक इन इंडिया और स्वच्छ भारत अभियान के सफल कामयाबी के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 22 जनवरी को हरियाणा के पानीपत में एक और योजना शुरू की।

पीएम कौशल विकास योजना: सरकार ने गरीबी के खिलाफ लड़ाई के तहत यह अभियान शुरू किया है। पीएम ने कहा कि अगर देश के लोगों की क्षमता को समुचित और बदलते समय की आवश्यकता के अनुसार कौशल का प्रशिक्षण दे कर निखारा जाता है तो भारत के पास दुनिया को 4 से 5 करोड़ कार्यबल उपलब्ध करा सकता है।

स्टैंड अप इंडिया स्कीम: 5 अप्रैल 2016 को नोएडा के सैक्टर 62 में पीएम मे स्टैंड अप इंडिया स्कीम की शुरुआत की। इस योजना के लिए उन्होंने एक वेब पोर्टल शुरू किया। इस स्कीम को लेकर भारत के उद्यमी वर्ग में खासा उत्साह है। अब आगे के तीन सालों में देखना है कि और कितने अच्छे दिन आएंगे।

1 COMMENT

  1. इन दो सालों में तो योजनाएं बनती रही और जनता महंगाई की मार से पीसती रही,पर देंखे आगे के तीन वर्षों में क्या नतीजा आता है?

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