लेख हिंद स्वराज हिन्दी भाषा और भारतीय परम्पराएँ September 14, 2020 / September 14, 2020 by मुकेश चन्द्र मिश्र | Leave a Comment आजकल पूरी दुनिया कोरोना वाइरस से लड़ रही है और लाखो जाने जा चुकी हैं हमारा देश भी कोविड से बुरी तरह प्रभावित है पर अगर हम मृत्यु दर की तुलना अन्य देशो से करें तो सायद हम अन्य पश्चिमी देशो से बेहतर स्थिति मे हैं और उसके लिए हम कह सकते हैं की इसमे […] Read more » भारतीय परम्पराएँ हिन्दी भाषा
समाज स्तरहीन कवि सम्मेलनों से हो रहा हिन्दी की गरिमा पर आघात May 28, 2018 by अर्पण जैन "अविचल" | Leave a Comment डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ कवि सम्मेलनों का समृद्धशाली इतिहास लगभग सन १९२० माना जाता हैं । वो भी जन सामान्य को काव्य गरिमा के आलोक से जोड़ कर देशप्रेम प्रस्तावित करना| चूँकि उस दौर में भारत में जन समूह के एकत्रीकरण के लिए बहाने काम ही हुआ करते थे, जिसमें लोग सहजता से आएं और […] Read more » Featured आई एम इंजीनियरिंग एन आई टी कवि सम्मेलनों प्रबंधन मेडिकल रहा हिन्दी की गरिमा पर आघात विश्वविद्यालय स्तरहीन कवि सम्मेलनों हिन्दी भाषा
विविधा हिंदी मुद्दा: अडिग रहें मोदी, पीछे न हटें June 24, 2014 by प्रवीण गुगनानी | 8 Comments on हिंदी मुद्दा: अडिग रहें मोदी, पीछे न हटें -प्रवीण गुगनानी- नरेन्द्र मोदी ने जब कहा कि वे विदेश यात्राओं के दौरान और अन्य राजनयिक अवसरों पर वैश्विक नेताओं से हिंदी में ही करेंगे तो देश में हिंदी को लेकर गौरव भाव और प्रतिष्ठित हो चला था. किन्तु हाल ही में गृह मंत्रालय ने जब द्रविड़ नेताओं के अनावश्यक और लचर दबाव में आते […] Read more » नरेंद्र मोदी मोदी सरकार मोदी हिन्दी हिन्दी हिन्दी भाषा हिन्दी मुद्दा
विविधा हिंदी प्रचार-प्रसार : एक कड़वा सच June 24, 2014 by बी एन गोयल | 3 Comments on हिंदी प्रचार-प्रसार : एक कड़वा सच -बीएन गोयल- प्रवक्ता में प्रकाशित डॉ. मधुसूदन के लेख और उस पर हुई प्रतिक्रिया स्वरूप डॉ. महावीर शरण जैन की टिप्पणी हिंदी के प्रचार प्रसार के सन्दर्भ में अत्यधिक प्रासंगिक है। यह एक प्रकार से दो विद्वानों के बीच एक साहित्यिक शास्त्रार्थ है। इसी दौरान भारत सरकार के गृह मंत्रालय ने अपना काम काज हिंदी […] Read more » भाषा हिंदी प्रचार हिन्दी हिन्दी प्रसार हिन्दी भाषा
विविधा भारतीय भाषाओं के विकास का अपेक्षित विकास June 24, 2014 by प्रोफेसर महावीर सरन जैन | 1 Comment on भारतीय भाषाओं के विकास का अपेक्षित विकास -प्रोफेसर महावीर सरन जैन- -भारत में एक ओर बहुभाषिकता दूसरी ओर भिन्न भाषा परिवारों की भारतीय भाषाओं की भाषिक समानता तथा भारतीय भाषाओं के विकास का अपेक्षित विकास न होने के मूल कारण की विवेचना- भारत में भाषाओं, प्रजातियों, धर्मों, सांस्कृतिक परम्पराओं एवं भौगोलिक स्थितियों का असाधारण एवं अद्वितीय वैविध्य विद्यमान है। विश्व के इस […] Read more » भारत में भाषा भारतीय भाषा भाषा भाषा का विकास हिन्दी हिन्दी भाषा
जन-जागरण द्वितीय महायुद्ध के पश्चात विदेशों में हिन्दी भाषा से सम्बंधित अध्ययन May 5, 2014 by प्रोफेसर महावीर सरन जैन | 1 Comment on द्वितीय महायुद्ध के पश्चात विदेशों में हिन्दी भाषा से सम्बंधित अध्ययन -प्रोफेसर महावीर सरन जैन- विदेशों में हिन्दी साहित्य के क्षेत्र में प्रचुर एवं महत्वपूर्ण कार्य हुए हैं। प्रस्तुत आलेख में हम उन अनेक देशों के हिन्दी साहित्य के सर्जकों के योगदान की चर्चा नहीं करेंगे। इसके सम्बंध में अलग आलेख में विचार किया जाएगा। प्रस्तुत आलेख में हिन्दी भाषा की शिक्षण सामग्री, वार्तालाप, शब्दकोशों तथा […] Read more » विदेशों में हिन्दी भाषा हिन्दी भाषा हिन्दी भाषा का अध्ययन
टेक्नोलॉजी इंटरनेट पर हिन्दी वालों में भाषायी विभ्रम September 9, 2010 / December 22, 2011 by जगदीश्वर चतुर्वेदी | 15 Comments on इंटरनेट पर हिन्दी वालों में भाषायी विभ्रम -जगदीश्वर चतुर्वेदी समझ में नहीं आता कहां से बात शुरू करूँ,शर्म भी आती है और गुस्सा भी आ रहा है। वे चाहते हैं संवाद करना लेकिन जानते ही नहीं हैं कि क्या कर रहे हैं,वे मेरे दोस्त हैं। बुद्धिमान और विद्वान दोस्त हैं। वे तकनीक सक्षम हैं । किसी न किसी हुनर में विशेषज्ञ हैं। […] Read more » Hindi Language इंटरनेट हिन्दी भाषा