कला-संस्कृति संस्कृति के हत्यारे August 5, 2011 / December 7, 2011 | 3 Comments on संस्कृति के हत्यारे राजेन्द्र जोशी (विनियोग परिवार) पांच सौ साल पहले यह दुनिया आज की तुलना में सुखी और हिंसा रहित थी। लेकिन 1492 में एक ऐसी घटना घटी जिसने सारे विश्व के प्रवाह को मोड़ दिया। पहले देश-विदेश से वस्तु के आयात-निर्यात का काम जहाजों से होता था। ऐसे जहाजों को यूरोप के लुटेरे लूट लेते थे […] Read more » culture संस्कृति
विविधा भारतीय सनातन परंपरा के रचनाकार धर्मपाल August 5, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment डा. अमित शर्मा एक सनातनी कर्मवादी के रूप में श्री धर्मपाल ने एक भरपूर जिन्दगी जी और एक गरिमामय मृत्यु को प्राप्त हुए। 1919 में जलियांवाला बाग की घटना की राख और 1920 में तिलक महाराज की भस्म के बीच महात्मा गांधी ने अपनी एक जगह बनायी और भारत में स्वराज पाने की अथक कोशिश […] Read more » Dharam धर्मपाल
विविधा मीणा जी, ब्राह्मणों के मूल देश के बारे में जरा बताएँगे! August 5, 2011 / December 7, 2011 | 10 Comments on मीणा जी, ब्राह्मणों के मूल देश के बारे में जरा बताएँगे! कौशलेन्द्र प्रिय भारतीय अनार्य ……..एवं …..विदेशी आर्य बंधुओ ! सादर नमन ! ! ! निवेदन है कि मीणा जी के विचारों पर आक्रोशित होने की नहीं बल्कि चिंतित होने की आवश्यकता है….कारण यह है कि यह मात्र मीणा जी का ही नहीं बल्कि मीणा जी जैसे अनेकों लोगों का विचार है…अतः उनके विचारों की उपेक्षा […] Read more »
विज्ञान महान वैज्ञानिक प्रफुल्ल चंद्र राय August 2, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment मृत्युञ्जय दीक्षित यह वर्ष महान रसायनविद डॉ. प्रफुल्ल चंद राय के जन्म का 150वां वर्ष है। डॉ. राय का जन्म पश्चिम बंगाल के रड़ौली गांव में हुआ था। अब यह स्थान बांग्लादेश में है। डॉ. राय के पिता समाजसेवी थे और उन्होंने कभी भी अंग्रेजों के समक्ष समर्पण नहीं किया। वे आधुनिक विचारधारा के अवश्य […] Read more » Prafful Chandra Rai प्रफुल्ल चंद्र राय
धर्म-अध्यात्म सार्थक पहल ‘वात्सल्य ग्राम’ की प्रयोगशाला August 2, 2011 / December 7, 2011 | 1 Comment on ‘वात्सल्य ग्राम’ की प्रयोगशाला ऋतेश पाठक अनाथों के नाथ विश्वनाथ के देश में अनाथों की लगातार बढ़ती संख्या आज चिंता का सबब बन रही है। गंभीर हालातों के मद्देनजर सरकारी स्तर पर खूब कागजी घोड़े दौड़ाये जा रहे हैं। ऐसे एकाकी और बेसहारा लोगों के बीच काम कर रही तमाम संस्थाओं में एक नाम है परमशक्ति पीठ का। पीठ […] Read more » वात्सल्य ग्राम साध्वी ऋतंभरा
प्रवक्ता न्यूज़ ग़रीबों के सपनों को अरमान देता है ये बापू बाजार August 2, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment मऊ। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर के कुलपति प्रो सुन्दरलाल द्वारा प्रारंभ की गयी बापू बाज़ार श्रृंखला के अंतर्गत रविवार को पब्लिक महिला महाविद्यालय मुहम्मदाबाद मऊ में तीसरा बापू बाज़ार लगा। इस बाज़ार में बड़ी संख्या में गरीबों ने कपड़ों की खरीददारी की। गरीबों के लिए लगने वाला यह अनोखा बाज़ार हैं। इस बाज़ार […] Read more » Bapu Market बापू बाज़ार
कार्टून कार्टून : बी.जे.पी. को भाई कैटरीना की ‘राजनीति’ July 31, 2011 / December 7, 2011 | 2 Comments on कार्टून : बी.जे.पी. को भाई कैटरीना की ‘राजनीति’ Read more » bjp बी.जे.पी.
प्रवक्ता न्यूज़ मीडिया पत्रकारिता विश्वविद्यालय में रिक्त स्थानों में प्रवेश हेतु ओपन काउन्सलिंग १ अगस्त को July 30, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment भोपाल, 30 जुलाई| माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय में सत्र 2011-12 में संचालित होने वाले पाठ्यक्रमों के शेष बचे रिक्त स्थानों में प्रवेश के लिए ओपन काउन्सलिंग सोमवार, 1 अगस्त 2011 को आयोजित होगी. काउन्सलिंग विश्वविद्यालय के एम.पी.नगर स्थित परिसर विकास भवन में प्रातः 10 बजे प्रारम्भ होगी. ओपन काउन्सलिंग के माध्यम से विश्वविद्यालय के […] Read more » Makhanlal Chaturvedi Patrakarita Vishwavidyalay माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय
आलोचना पुस्तक समीक्षा ‘हेलो बस्तर’ को पढ़ने की कोई आवश्यकता नहीं July 30, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment कौशलेन्द्र “हेलो बस्तर” [राहुल पंडिता की पुस्तक पर एक विमर्श] ‘हैलो बस्तर’ की एकांगी समीक्षा की है राजीव रंजन प्रसाद ने सत्य का गला घोट दिया है राहुल पंडिता ने १- भूमकाल से माओवादी संघर्ष की तुलना नहीं की जा सकती. दोनों में ज़मीन-आसमान का फर्क है. दोनों के उद्देश्यों में फर्क है. दोनों के […] Read more » hello bastar नक्सलाद बस्तर माओवाद हेलो बस्तर
विविधा फूट डालो और राज करो July 30, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment वीरेन्द्र सिंह परिहार संप्रग सरकार एक नया विधेयक ”साम्प्रदायिक एवं लक्षित हिंसा रोकथाम पास करने जा रही है। इसका उद्देश्य साम्प्रदायिक, घटनाओं पर प्रभावी ढंग से अंकुश लगाना बताया जा रहा है। पर वास्तविकता में इस कानून का आशय है-हिन्दू आक्रामक है, तथा मुस्लिम ईसाई तथा दूसरे अल्पसंख्यक पीड़ित है। इस प्रस्तावित विधेयक में ऐसा […] Read more » Communal violence bill साम्प्रदायिक एवं लाक्षित हिंसा रोकथाम विधेयक
लेख नवचेतना के आधार:प्रेमचंद July 30, 2011 / December 7, 2011 | Leave a Comment रामकृष्ण प्रेमचंद जयन्ती : 31 जुलाई प्रेमचंद जितने अंश में साहित्यकार थे उतने ही अंश में एक समाजवेत्ता और मार्गदर्शक भी बल्कि उनकी यह दोनों विशेषताएं इतनी एकरूप हो गयी थीं कि उनका अस्तित्व ही नहीं बच पाया था. इस कालजयी साहित्यसर्जक के स्मरणपर्व पर किये उनकी कला के विभिन्न पक्षों का एक बेबाक विवेचन. बात […] Read more » Premchand प्रेमचंद
सिनेमा ‘खाप’ बनाम ‘खाप’ के निहितार्थ चन्द यक्ष प्रश्न July 29, 2011 / December 8, 2011 | 3 Comments on ‘खाप’ बनाम ‘खाप’ के निहितार्थ चन्द यक्ष प्रश्न राजेश कश्यप उत्तरी भारत की खाप-प्रथा के खिलाफ ओमपुरी द्वारा अभिनीत फिल्म ‘खाप’ आगामी २९ जुलाई को रीलिज होने जा रही है। क्योंकि फिल्म अत्यन्त संवेदनशील मुद्दे पर बनी है, तो फिल्म के निहितार्थ कुछ तथ्यों पर गहन मन्थन करना अत्यन्त अनिवार्य हो जाता है। चूंकि सिनेमा, समाज का दर्पण होता है और उसने खाप […] Read more » Khap खाप’