लेख गिरते घर , मरते लोग December 6, 2011 / December 6, 2011 by राजीव गुप्ता | 2 Comments on गिरते घर , मरते लोग राजीव गुप्ता मनुष्य की मूलभूत आवश्यकताओं में “मकान” की बहुत महत्वपूर्ण भूमिका है ! हर व्यक्ति की इच्छा होती है कि सिर ढकने के लिए एक छत अर्थात उसका ” अपना आशियाना ” हो जहां उसका परिवार प्रफ्फुलित एवं पल्लवित हो और इसी की जद्दोजेहद में मनुष्य अपने जीवन की अधिकतम आयु लगा देता है […] Read more » गिरते घर मरते लोग
लेख अधर्म पर धर्म की जीत की याद दिलाती ”शहादत-ए-हुसैन” December 4, 2011 / December 4, 2011 by तनवीर जाफरी | 2 Comments on अधर्म पर धर्म की जीत की याद दिलाती ”शहादत-ए-हुसैन” तनवीर जाफरी मोहर्रम पर विशेष अंग्रेज़ी कैलंडर वर्ष की शुरुआत हो या अन्य दूसरे पंथों द्वारा अपनाए जाने वाले वार्षिक कैलंडर की बात हो लगभग सभी नववर्षों की शुरुआत पूरे विश्व में पूरे हर्षोल्लास व स्वागतपूर्ण वातावरण में की जाती है। परंतु इसे इस्लाम धर्म का दुर्भागय कहा जाएगा कि इस्लामी वर्ष का पहला महीना […] Read more » 'शहादत-ए-हुसैन festival of muslims muharram shia festival muharram बीबी फातिमा मोहर्रम पर विशेष हज़रत अली हज़रत हुसैन
महिला-जगत लेख ‘उर्वशी’ होना नारी का अपमान है: डा. धर्मवीर December 4, 2011 / December 4, 2011 by प्रवक्ता.कॉम ब्यूरो | 4 Comments on ‘उर्वशी’ होना नारी का अपमान है: डा. धर्मवीर कैलाश दहिया रामधारी सिंह ‘दिनकर’ की ‘उर्वशी’ में नारी चेतना और नारीवाद का नामोनिशान नहीं है। उर्वशी वेश्या थी और वेश्या होना नारी के लिए अपमान है। दिनकर ने अपनी द्विज परम्परा में ‘उर्वशी’ नामक प्रबंध काव्य लिखा है। इसमें जहाँ कविता थी-अच्छी लगी, जहाँ पुराण था, वहाँ यह खराब ही होनी थी। दिल्ली विश्वविद्यालय […] Read more » ‘उर्वशी’ Urvashi नारी का अपमान
लेख आधुनिक भारत में किसान हाशिए पर December 4, 2011 / December 6, 2011 by संजय कुमार बलौदिया | Leave a Comment संजय कुमार कुछ समय पहले राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो की रिपोर्ट आई जिसके अनुसार पिछले 16 वर्षों में 2.5 लाख से ज्यादा किसानों ने खुदकुशी कर ली है। वहीं महाराष्ट्र, आंध्रप्रदेश, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, कर्नाटक में किसानों की दशा ओर भी खराब है। मध्यप्रदेश में हर दिन 4 किसान खुदकुशी कर रहे है। इन आंकडों और […] Read more » Farmers modern india आधुनिक भारत किसान हाशिए पर
लेख अजातशत्रु December 2, 2011 / December 2, 2011 by अब्दुल रशीद | Leave a Comment अब्दुल रशीद बिहार के छोटे से गांव में जन्मे,भारतीयता की सजीव मूर्ति,एक ऐसे व्यक्तित्व जो सदा सत्य के लिए अहिंसा पथ पर चले, गांव से राष्ट्रपति भवन तक के लम्बे सार्वजनिक जीवन में जिनका कोई शत्रु नहीं, गांधी जी ने उन्हें अजातशत्रु कह कर सम्बोधित किया,जी हां वो थे भारत के सपूत देश के प्रथम […] Read more » Rajendra Prasad अजातशत्रु
लेख कौन सी प्रेस, किस की आज़ादी? December 2, 2011 / December 2, 2011 by जगमोहन फुटेला | 1 Comment on कौन सी प्रेस, किस की आज़ादी? जगमोहन फुटेला यों तो मैंने भी प्रेस में कमाई और प्रेस की खाई है. पैंतीस साल लिखा है, तीस साल नौकरी की है. लेकिन मैं समझ नहीं पा रहा कि जस्टिस काटजू के सुझाव पर पत्रकारों में सुजाक पाक क्यों है? मीडिया महाजनों के तो हो. उनके गुलामों में क्यों है? सच तो ये है […] Read more » Liberty in Press प्रेस की आज़ादी
लेख मल्टीब्रांड एफडीआई यानी हर ब्रांड में ‘फुल दादागिरी इनकी’! December 2, 2011 / December 2, 2011 by इक़बाल हिंदुस्तानी | 3 Comments on मल्टीब्रांड एफडीआई यानी हर ब्रांड में ‘फुल दादागिरी इनकी’! इक़बाल हिंदुस्तानी यू पी ए यानी ‘उल्टी पुल्टी ऐबदार’ सरकार आजकल पांच साल के ठेके पर चल रही है। सरकार के पास बहुमत है। वह अपने बहुमत से कुछ भी कर सकती है। उसने मल्टीब्रांड एफडीआई यानी हर ब्रांड में ‘‘फुल दादागिरी इनकी’’ का फंडा अपनाया है तो आपके पेट में दर्द क्यों हो रहा […] Read more » Multibrand FDI Retail Sector मल्टीब्रांड एफडीआई
लेख जम्मू कश्मीर में पंचायती राज December 2, 2011 / December 2, 2011 by रामेन्द्र मिश्रा | Leave a Comment उत्तरी कश्मीर के बारामुला जिला के वूसान गांव की आशा गांव की सरपंच निर्वाचित कर ली गयीं | वूसान गांव के कुंजर ब्लाक में रहने वाली 52 वर्षीय आशा कश्मीरी पंडित हैं और अपने पति राधाकृष्ण तथा 2 बच्चों के साथ रहती हैं | 90 के दशक में पाक प्रायोजित आतंकवाद के चलते जो लाखों […] Read more » Jammu Kashmir जम्मू-कश्मीर पंचायती राज
लेख अपने देश में पराया होने का दर्द December 2, 2011 / December 6, 2011 by प्रवक्ता.कॉम ब्यूरो | 2 Comments on अपने देश में पराया होने का दर्द विजय क्रांति पीओके के शरणार्थी आज भी पहचान के मोहताज आज़ाद हिंदुस्तान की हवा में सांस लेने के आदी हो चुके लोगों को इस बात पर शायद विश्वास नहीं होगा कि इस देश में बीस लाख से ज्यादा लोगों का एक ऐसा शरणार्थी समाज भी है जो 1947 में भारत विभाजन के 64 साल बाद […] Read more » POK अपने देश में पराया होने का दर्द पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर पीओके के शरणार्थी रिसेटलमेंट एक्ट-1982 शरणार्थी
लेख अन्ना यह संघर्ष निर्णायक हो…!!! December 2, 2011 / December 2, 2011 by हितेश शुक्ला | 3 Comments on अन्ना यह संघर्ष निर्णायक हो…!!! अब आश्वासन नहीं परिणाम चाहिए… अन्ना ने फिर से संघर्ष का मैदान सम्हाल लिया है !११दिसंबर को जंतर मंतर पर शांतिपूर्ण धरना और 27 दिसंबर से फिर अनशन की तैयारी में है !अन्ना आपको देश के जन ने अपना नेतृत्व सोपा है ! कांग्रेस नीत UPA सरकार के कुटिल इरादे नेक नहीं लगते। ये किसी […] Read more » Anna Andolan Congress Govt. अन्ना संघर्ष निर्णायक युपीए सरकार
लेख देश कों अपनी प्रतिभा की कदर नहीं December 2, 2011 by ललित कुमार कुचालिया | 1 Comment on देश कों अपनी प्रतिभा की कदर नहीं भारतीय कबड्डी टीम ने इस बार कबड्डी का वर्ल्डकप जीता तो मुझे बहुत ख़ुशी हुई. सच मानो तो मै फुला नहीं समा पाया. बचपन में मै भी कबड्डी खेला करता था लेकिन वो मेरा देहाती खेल था इसीलिए में उसको ज्यादा तवज्जो देता था. लेकिन यह कभी नहीं सोचा था कि भारतीय टीम कभी कबड्डी […] Read more » Indian Kabbadi Team भारतीय कबड्डी टीम
लेख ममता को सराहौं या सराहौं रमन सिंह को December 2, 2011 / December 2, 2011 by संजय द्विवेदी | 1 Comment on ममता को सराहौं या सराहौं रमन सिंह को संजय द्विवेदी नक्सलवाद के पीछे खतरनाक इरादों को कब समझेगा देश नक्सलवाद के सवाल पर इस समय दो मुख्यमंत्री ज्यादा मुखर होकर अपनी बात कह रहे हैं एक हैं छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह और दूसरी प.बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी। अंतर सिर्फ यह है कि रमन सिंह का स्टैंड नक्सलवाद को लेकर पहले […] Read more » mamta benerjee Naxalism Naxalite Region ममता बनर्जी रमन सिंह