गजल हिंदी गजल July 25, 2019 / July 25, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment अविनाश ब्यौहार देश का नहीं उनका विकास है। जिनके तन पर महँगा लिबास है।। रहजनी रात के अंधेरे में, दिन में उनकी इज्जत झकास है। वे बैठे मिले तनहाईयों में, क्यों लगा कि कोई आस पास है। दफ्तर ज्यों पीपल का पेड़ हुआ, देव नहीं बल्कि जिन का वास है। आज वक्त इस तरह बदला […] Read more » gazal hindi hindi gazal
गजल हिंदी गजल July 24, 2019 / July 24, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment अविनाश ब्यौहार नेताजी हो गए अजागर। जनतंत्र है देश का नागर।। उफना रही सरिता अगर है, ढूंढ़ो यहाँ सुरक्षित बागर। तुम सदियों की प्यास बनो तो, मै भी अब हो जाऊँ छागर। जीवन है इक नाव सरीखा, ठौर ठिकाना होता पागर। तन्हा तन्हा इस कस्बे से, चला गया सुख का सौदागर। अविनाश ब्यौहार रायल एस्टेट […] Read more » hindi hindi gazal hindi literature literature
कविता हिंदी ग़ज़ल July 23, 2019 / July 23, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment कुछ भी कर लो राजनीति में। कोठी भर लो राजनीति में।। रूप अगर मोहित करता हो सीता हर लो राजनीति में। सेर पे सवा सेर हुआ है, थोड़ा डर लो राजनीति में। पाँच साल में डेरा बदले, कच्चा घर लो राजनीति में। वोटों का है खेल निराला, चमचा धर लो राजनीति में। अविनाश ब्यौहार रायल […] Read more » hindi hindi gazal hindi poetry
गजल हिंदी गजल July 22, 2019 / July 22, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment अपराध हुआ पर सजा नहीं। जरूरी बात पर रजा नहीं।। बन गए जो महान हस्तियाँ, उनका प्रयाण पर कजा नहीं। नृत्य देख शोख सुंदरी का, हुई बेरुखी पर मजा नहीं। गद्दी मिल गई रहनुमा को, मिलते सब सुख पर प्रजा नहीं। गर वहशत फैली तो मानो, अमन जरूरी पर गजा नहीं। अविनाश ब्यौहार जबलपुर Read more » hindi hindi gazal
साहित्य संविधान की आठवीं अनुसूची में भोजपुरी के शामिल होने से हिन्दी को होने वाली क्षति । July 15, 2019 / July 15, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment 1. भोजपुरी के आठवीं अनुसूची में शामिल होने से हिन्दी भाषियों की जनसंख्या में से भोजपुरी भाषियों की जनसंख्या घट जाएगी. मैथिली की संख्या हिन्दी में से घट चुकी है. स्मरणीय है कि सिर्फ संख्या-बल के कारण ही हिन्दी इस देश की राजभाषा के पद पर प्रतिष्ठित है. यदि यह संख्या घटी तो राजभाषा का दर्जा […] Read more » Bhojpuri Bhojpuri in the eighth schedule of the constitution. Damage to Hindi hindi
गजल हिंदी ग़ज़ल July 11, 2019 / July 11, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment शहर तो है नींद से जागा। मुंडेरों पर बोले कागा।। दिनचर्या चालू होते ही, वो दफ्तर को सरपट भागा। होने लगी मुनादी गर तो, पीट रहा है डुग्गी डागा। आपस में अनबन होते ही, टूट गया रिश्तों का तागा। न खाए परसी हुई थाली, उससे बड़ा कौन दोहागा। अविनाश ब्यौहार रायल एस्टेट कटंगी रोड जबलपुर Read more » hindi hindi gazal literature
गजल हिंदी ग़ज़ल July 10, 2019 / July 10, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment कितने रहे अभागे हैं। उलझे उलझे धागे हैं।। छोटी खुशियों के खातिर, रात रात भर जागे हैं। जिन्हें हम मसीहा समझे, वे मर्यादा लाँघे हैं। जितने होते कार्यदिवस, उतने उनके नागे हैं। कछुआ गति से जो चलते, खरगोशों से आगे हैं। अविनाश ब्यौहार रायल एस्टेट कटंगी रोड जबलपुर ReplyForward Read more » hindi hindi gazal
गजल हिंदी ग़ज़ल July 5, 2019 / July 5, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment अविनाश ब्यौहार उपदा का कमाना है। वाइज़ का जमाना है।। बुतों का यह शहर है, बाजों को चुगाना है। जंगल में बबूलों के, खिजाँ को ही आना है। सपनों का खंडहर है, भूतों को बसाना है। बस नाम के कपड़े हैं, फ़क़त अंग दिखाना है। बहार की जुस्तजू क्या, जब कहर ही ढाना है। सुबकती […] Read more » hindi hindi gazal
साहित्य सूरज है रूठा: नवगीत July 2, 2019 / July 2, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment अविनाश ब्यौहार वर्षा की पहली फुहार है। और हवा के आर पार है।। डाली में कोंपल फूटी है। आज तपन लगती झूठी है।। हरितिमा की साज सँवार है। नहा रहा है बूटा बूटा। बादल से सूरज है रूठा।। घूंघट काढ़ेगी बयार है। मंजर दिखता रहा बाढ़ का। स्वागत बारिश में अषाढ़ का।। मेह बरसते धुन […] Read more » hindi literature Nature newsong poem poem on nature
गजल हिंदी गजल June 27, 2019 / June 27, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment बिगड़ी हुई आदतें पलती गईं, अहबाब को सुधारने का शुक्रिया। कोना कोना करकट बिखरा हुआ, अँगनाई को झाड़ने का शुक्रिया। नियाइश की आज तो उम्मीद थी, फिर बेवजह धुंगारने का शुक्रिया। बड़े ही अरमान से पाला उन्हें, अब बैल सा हुंकारने का शुक्रिया। अविनाश ब्यौहार, रायल एस्टेट, कटंगी रोड जबलपुर। Read more » hindi hindi gazal
गजल मुक्तिका/हिंदी गजल May 25, 2019 / May 25, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment हर बशर बदगुमान नजर आता है।भटका हुआ जवान नजर आता है।।प्यून है घूस से अर्श पर पहुंचा,देखिए साहिबान नजर आता है।जीभ फेरिए जरा सूखे होंठ पर,रचा रचाया पान नजर आता है।लग रही है मेनका सुंदरता में,कलेवर तो कमान नजर आता है।लतीफे की किताबें पढ़कर लगा कि,इस तरह संविधान नजर आता है। अविनाश ब्यौहार रायल एस्टेट […] Read more » genere of hindi hindi hindi gajal literature
लेख साहित्य हिन्दी मेरी संगिनी May 21, 2019 / May 21, 2019 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment डा. मीरा सिंह हिन्दी भाषी प्रदेश में जन्म होने के कारण हिन्दी जन्म से ही मेरी संगिनी रही है । जब मैंने जन्म लिया, संसार में आते ही मैंने रोना शुरू कर दिया | मेरे रोने की आवाज को रोकने के लिए मेरे स्वजनों का जो पहला प्यार भरा शब्द सबसे पहले मेरे कानों में […] Read more » hindi hindi is companion Hindi Language importance of hindi love for hindi my language my best friend