पर्यावरण लद्दाख के लिए करामाती है ग्रीनहाउस December 10, 2011 / December 10, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | 1 Comment on लद्दाख के लिए करामाती है ग्रीनहाउस स्टांजिंग कुजांग आंग्मो लद्दाख पश्चिम हिमालय में बसा एक ऐसा क्षेत्र है जो कठोर वातावरण का सामना करता है। नवंबर के शुरूआत के साथ ही ठंड का बढ़ना, बर्फीली हवाओं का चलना और तापमान का शून्य से भी नीचे चला जाना इसकी प्रकृति के साथ जुड़ा हुआ है। एक बार फिर लद्दाख […] Read more » ladakh ladakh greenhouse लद्दाख
पर्यावरण सामुदायिक वन प्रबंधन का अनूठा प्रयोग December 10, 2011 / December 10, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | 2 Comments on सामुदायिक वन प्रबंधन का अनूठा प्रयोग नौशाद आलम आधुनिकीकरण और औद्योगिकीकरण के नाम पर जिस तरह से जंगलों की अंधाधुंध कटाई हो रही है। उसका दुष्परिणाम हम सबके सामने है। जंगलों को बचाने के लिए कोई ठोस उपाए कारगर सिद्ध नहीं हो रहा है। ऐसे में झारखंड के चतरा स्थित सिमरिया के जिरवा पंचायत के लोगों ने तकरीबन पांच सौ हेक्टेयर […] Read more » community forest management सामूहिक वन प्रबंधन
पर्यावरण लेख प्लास्टिक को बाय बाय कहकर, हिमाचल बना नंबर एक November 28, 2011 / November 28, 2011 by अन्नपूर्णा मित्तल | 2 Comments on प्लास्टिक को बाय बाय कहकर, हिमाचल बना नंबर एक हम सब को पता है की प्लास्टिक गंभीर रूप से पर्यावरण को नुकसान पहुंचता है। ये एक जहरीले रसायन से बना होने के कारण यह पृथ्वी, हवा, पानी सभी को प्रदूषित करता है। प्लास्टिक अपने उत्पादन और डिस्पोजल के दौरान पर्यावरण को प्रदूषित करता है। प्लास्टिक के खतरों को कम करने का एक ही तरीका […] Read more » Himachal Himachal is Number One Poly Bags Prem Kumar Dhumal प्लास्टिक हिमाचल बना नंबर एक
पर्यावरण गाय से गांव और गांव से पर्यावरण की रक्षा November 17, 2011 / November 28, 2011 by विजय कुमार | 2 Comments on गाय से गांव और गांव से पर्यावरण की रक्षा विजय कुमार इन दिनों पूरा विश्व जिन अनेक संकटों से जूझ रहा है, उनमें पर्यावरण का संकट भी बहुत महत्वपूर्ण है। यों तो पर्यावरण संरक्षण की बात करना इन दिनों एक फैशन बन गया है। भारत में काम करने वाले लाखों अ-सरकारी संगठन (एन.जी.ओ) पर्यावरण के लिए ही काम कर रहे हैं; पर उनके प्रयासों […] Read more » Protection of Environment गाय पर्यावरण
पर्यावरण हमारे बढ़ते वाहन की दौड़ भी पर्यावरण की मौत का एक कारक November 12, 2011 / December 3, 2011 by मनोज श्रीवास्तव 'मौन' | 3 Comments on हमारे बढ़ते वाहन की दौड़ भी पर्यावरण की मौत का एक कारक मनोज श्रीवास्तव ”मौन” पृथ्वी पर विकास मानव की आवश्यकताओं को कितना भी पूरा करे मानव को कम ही प्रतीत होता है। सुख-सुविधाओं को प्राप्त करने की कोई सीमा नहीं होती है। परिवार की सुख सुविधाओं में बढ़ती हुई आवश्यकताएं बहुत बड़ी भूमिका निभाती है। इसलिए मानव को इसमें आवागमन के लिए साइकिल से मोटरसाइकिल फिर […] Read more » Environmental Pollution increasing motors पर्यावरण की मौत बढ़ते वाहन
पर्यावरण पानी रे पानी तू हर जगह, लेकिन पीने को एक बूंद नहीं November 2, 2011 / December 5, 2011 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment स्टाजिंग कुजांग आंग्मो लेह की सड़कों पर चलते हुए जैसे-जैसे मैं पुरानी बातों को याद करती हूं, तो बचपन की यादें किसी फूल की तरह ताजा हो जाती हैं। ऐसा लगता है कि जैसे कल की ही बात हो जब मैं अपने साथियों के साथ इन हरे भरे चारागाहों, सुंदर और भव्य इलाकों और हीरे […] Read more » water जल पानी
पर्यावरण गांधीजी के विचार और जलवायु परिवर्तन की चुनौती October 13, 2011 / December 5, 2011 by प्रवक्ता.कॉम ब्यूरो | Leave a Comment नवनीत कुमार गुप्ता राष्ट्रपिता महात्मा गांधी संसार के उन चंद महापुरूषों में से एक हैं जिनके विचार सदैव मानव सभ्यता के विकास में बहुमूल्य साबित होते रहे हैं। गांधी जी ने केवल सामाजिक और राजनीतिक ही नहीं बल्कि जीवन के सभी क्षेत्रों में अपना दृष्टिकोण व्यक्त किया है। आज जबकि मानवीय मूल्यों और पर्यावरण में […] Read more » Mahatma Gandhi जलवायु परिवर्तन महात्मा गांधी
पर्यावरण सिक्किम नेपाल और तिब्बत सीमा पर हिलने को मजबूर धरती October 11, 2011 / December 5, 2011 by मनोज श्रीवास्तव 'मौन' | 2 Comments on सिक्किम नेपाल और तिब्बत सीमा पर हिलने को मजबूर धरती भारतीय भूकम्प से नुकसान को रोकने की एक पहल मनोज श्रीवास्तव ‘‘मौन’’ अठ्ठारह सितम्बर की शाम हो रही थी अभी सूरज आधा ही डूबा था समय छः बजकर ग्यारह मिनट ही हो रहा था। तभी सिक्किम स्थित मंगल में छः दशमलव आठ की रिक्टर तीव्रता का एक जोरदार भूकम्प आया जिसने उत्तर पूर्वी भारत के […] Read more » Nepal Sikkim Tibbet भूकंप
पर्यावरण कहां गया आपदा प्रबंधन सिस्टम! September 26, 2011 / December 6, 2011 by लिमटी खरे | Leave a Comment लिमटी खरे किसी भी अनहोनी के लिए भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण का गठन किया गया है। इसके अधिकारी ही जब स्वीकार करने लगें कि उनकी तैयारियों में गंभीर खामियां हैं तो फिर भारत गणराज्य की जनता को किसके भरोसे छोड़ा जाए! ब्यूरो ऑफ इंडियन स्टेंडर्ड, आवास एवं शहरी विकास निगम (हुडको) के […] Read more » management system प्रबंधन सिस्टम
धर्म-अध्यात्म पर्यावरण गंगा और भारत September 16, 2011 / December 6, 2011 by डॉ. सौरभ मालवीय | 16 Comments on गंगा और भारत सौरभ मालवीय गंगा शब्द का अर्थ तीव्रगामनी होता है लेकिन भारत में इस शब्द का अर्थ एक पवित्र नदी के रूप में है। इसका अर्थ पुरूषार्थ चतुष्टय की प्राप्ति का साधन है यू तो संसार में हजारों नदियां हैं और भारत में भी एक सौ तेरह विपुल जल वाली नदियां है परन्तु भारतीय आस्था में […] Read more » India गंगा
पर्यावरण बाढ़ के खतरे और चुनौतियां August 22, 2011 / December 7, 2011 by डॉ0 आशीष वशिष्ठ | Leave a Comment डॉ0 आशीषवशिष्ठ तेजी से बढ़ती आबादी, मौसम चक्र में गड़बड़ी और फेरबदल, प्रदूषित पर्यावरण, अनियोजित और अनियंत्रित विकास के फलस्वरूप देष में बाढ़ का खतरा और चुनौतियां दिनों दिन गंभीर और विध्वंसक रूप धारण कर रही हैं। हर साल बाढ़ के कारण जान-माल का भारी नुकसान होता है। बावजूद इसके सरकारी मशीनरी घिसी-पिटी तकनीक और […] Read more » बाढ़
धर्म-अध्यात्म पर्यावरण प्रदूषण मुक्त गंगा, प्रदूषण मुक्त सार्वजनिक जीवन August 19, 2011 / December 7, 2011 by लालकृष्ण आडवाणी | Leave a Comment लालकृष्ण आडवाणी परमार्थ निकेतन, ऋषिकेश के स्वामी चिदानंद सरस्वती उन आध्यात्मिक विभूतियों में से एक हैं जिनका मैं अत्यंत आदर करता हूं। गंगा के किनारे उनका आश्रम सचमुच में शांति, पवित्रता और दिव्यता का स्वर्ग है। मैं अपने परिवार के साथ वहां अनेक बार गया हूं। घाट पर संध्या आरती के समय जब स्वामीजी अपने […] Read more » Ganga River Pollution गंगा प्रदूषण