राजनीति अन्ना के आंदोलन में मची खीच-तान

अन्ना के आंदोलन में मची खीच-तान

अनुराग अनंत  मैंने कहीं पढ़ा था की समाज एक प्रयोगशाला है जहाँ सामाजिक विज्ञान के नियमों के प्रयोग और प्रेक्षण किये जाते है ,पर ये…

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व्यंग्य किसे कराएं पीएचडी ?

किसे कराएं पीएचडी ?

राजकुमार साहू मुझे पता है कि देश में संभवतः कोई विषय ऐसा नहीं होगा, जिस पर अब तक पीएचडी ( डॉक्टर ऑफ फिलास्फी ) नहीं…

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ज्योतिष आइये जाने उच्च तथा नीच राशि के ग्रह—

आइये जाने उच्च तथा नीच राशि के ग्रह—

ज्योतिष में रूचि रखने वाले लोगों के मन में उच्च तथा नीच राशियों में स्थित ग्रहों को लेकर एक प्रबल धारणा बनी हुई है कि…

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राजनीति पाकिस्तानः पिद्दी न पिद्दी का शोरवा…..

पाकिस्तानः पिद्दी न पिद्दी का शोरवा…..

इक़बाल हिंदुस्तानी एक कहावत है कि जब गीदड़ की मौत आती है तो वह शहर की तरफ भागता है, इसमें यह और जोड़ा जा सकता…

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ज्योतिष इन उपायों से मिलेगी नौकरी झटपट…!!!!

इन उपायों से मिलेगी नौकरी झटपट…!!!!

 वर्तमान में प्रतिस्पर्धा को देखते हुए एक सामान्य व्यक्ति की इच्छा होती है कि उसकी किसी अच्छे संस्थान में नौकरी लग जाए। अगर सरकारी नौकरी…

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विविधा दिल टूटे तो…/ स्‍वेता सिंह

दिल टूटे तो…/ स्‍वेता सिंह

क्या कहूं ? सुना था जब किसी का दिल टूटता है तो वो कवि बन जाता है। कालीदास की कविताओं पर भी नागार्जुन ने कहा…

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कविता कविता / सरदार पटेल – एक नागरिक की दृष्टि में

कविता / सरदार पटेल – एक नागरिक की दृष्टि में

  विपिन किशोर सिन्हा हर वर्ष, राष्ट्रीय त्योहारों के अवसर पर, दूरदर्शन आकाशवाणी से, प्रथम प्रधान मंत्री नेहरू का, गुणगान सुन – मैं भी चाहता…

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पर्यावरण पानी रे पानी तू हर जगह, लेकिन पीने को एक बूंद नहीं

पानी रे पानी तू हर जगह, लेकिन पीने को एक बूंद नहीं

स्‍टाजिंग कुजांग आंग्‍मो  लेह की सड़कों पर चलते हुए जैसे-जैसे मैं पुरानी बातों को याद करती हूं, तो बचपन की यादें किसी फूल की तरह…

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विविधा आंगनबाड़ी की मदद से प्रा‍थमिक शिक्षा को बढ़ावा

आंगनबाड़ी की मदद से प्रा‍थमिक शिक्षा को बढ़ावा

सुधा कुमारी कहते हैं जब एक लड़का शिक्षित होता है तो एक नागरिक शिक्षित होता है, लेकिन जब एक लड़की शिक्षित होती है तो एक पीढ़ी…

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विविधा पहाड़ी भाषा से सौतेला बर्ताव क्‍यूं ?

पहाड़ी भाषा से सौतेला बर्ताव क्‍यूं ?

ख्‍वाजा परवेज दिलबर भाषा न केवल विचारों को अभिव्‍यक्‍त करने का सर्वाधिक महत्‍वपूर्ण साधन है बल्कि यह किसी भी समुदाय की सामाजिक और सांस्कृतिक पहचान…

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राजनीति ये मुखबिरों की बस्‍ती है

ये मुखबिरों की बस्‍ती है

आशा शुक्‍ला  देश में आज भी धर्म और जाति के आधार पर बस्‍ती, उनकी पहचान न सिर्फ मौजूद है बल्कि स्वीकार्य भी है। परंतु इसी…

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आलोचना तथाकथित उर्दू वालो से उर्दू को खतरा

तथाकथित उर्दू वालो से उर्दू को खतरा

शादाब जफर ‘‘शादाब’’ आज शायरो और मुशायरा कन्वीनरो ने मुशायरो का रूख जिस तरफ मोड़ दिया है उसे उर्दू अदब, अदीब और मुस्लिम मुशायरे के…

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