लेख साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-60 February 19, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का दसवां अध्याय और विश्व समाज शस्त्रों में वज्र मैं हूं, गायों में कामधेनु मैं हूं, प्रजनन में कामदेव मैं हूं, सर्पों में वासुकि मैं हूं। यहां श्रीकृष्णजी किसी भी जाति में या पदार्थादि में सर्वोत्कृष्ट को अपना रूप बता रहे हैं। सर्वोत्कृष्ट के आते ही छोटे उसमें अपने […] Read more » Featured karmayoga of geeta todays world आज का विश्व गीता गीता का कर्मयोग
साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-59 February 19, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का दसवां अध्याय और विश्व समाज ऐसी उत्कृष्ट श्रद्घाभावना के साथ जो लोग ईश भजन करते हैं-उनके लिए गीता का कहना है कि उन्हें मैं (भगवान) बुद्घि भी ऐसी प्रदान करता हूं कि जिसके द्वारा वे मेरे पास ही पहुंच जाते हैं। उन पर अपनी अनुकम्पा करने के लिए […] Read more » Featured karmayoga of geeta todays world आज का विश्व गीता गीता का कर्मयोग
राजनीति मोदी की फिलिस्तीनी यात्रा: संबंधों में नये सूर्योदय की शुरुआत February 19, 2018 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment – डॉ. सुभाष सिंह यह सर्वविदित है कि भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पश्चिमी एशिया (जॉर्डन, फिलिस्तीन, संयुक्त अरब अमीरात और ओमान) की यात्रा पर गए थे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सबसे पहले शुक्रवार को जार्डन के शाह अब्दुल्ला द्वितीय से मुलाकात की। भारत की विदेश नीति में खाड़ी क्षेत्र और पश्चिम एशिया क्षेत्र को महत्वपूर्ण […] Read more » Featured Modi's Palestinian visit मोदी मोदी की फिलिस्तीनी यात्रा
समाज अंधविश्वास की गिरफ़्त में ज़िंदगी February 19, 2018 by देवेंद्रराज सुथार | Leave a Comment विडंबना है कि आजादी के सात दशक बाद भी हमारा समाज अंधविश्वास के गर्त से बाहर नहीं निकल पाया है। कहने को तो हमारे देश की साक्षरता 74 प्रतिशत है लेकिन इसके विपरीत आए दिन अंधविश्वास के नाम पर घटित होने वाली प्रताड़ना व मारपीट की घटनाएं हमारे देश के खोखले विकास की पोल खोलकर […] Read more » Featured Life in the grip of superstition अंधविश्वास अंधविश्वास की गिरफ़्त में ज़िंदगी डायन हत्या बंकाया देवी के मंदिर में अंधविश्वास
समाज वैदिक धर्मी मनुष्यों के मुख्य कर्तव्य एवं उनकी दिनचर्या February 19, 2018 / February 19, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य संसार में सबसे पुराना, वैज्ञानिक, सबको मित्र व प्रेम की दृष्टि से देखने वाला व वैसा ही व्यवहार करने वाला धर्म वैदिक धर्म है। वैदिक धर्म पूर्ण व सर्वांगीण धर्म है। इसमें सभी विद्यायें एवं सभी विषयों का ज्ञान उपलब्ध है। अन्य सभी मत मनुष्यों व उन मतों के आचार्यों व गुरुओं […] Read more » Featured वैदिक वैदिक धर्मी मनुष्य
समाज भारत को नया नहीं, संवेदनशील बनाना होगा February 16, 2018 by ललित गर्ग | Leave a Comment ललित गर्ग आज जब हम अपने आस-पास की स्थिति को नजदीक से देखते हैं तो पाते हैं कि हम कितने असभ्य और असंवेदनशील हो गए हैं। सिर्फ हम अपने बारे में सोचते हैं और हमें अपनी चिंतायें हर वक्त सताती है लेकिन हम यह भूल जाते हैं कि समाज के प्रति हमारी कुछ जिम्मेदारियां भी […] Read more » Featured India sensitive india sensitive people भारत संवेदनशील संवेदनशील भारत
धर्म-अध्यात्म वेदों की रक्षा और स्वाध्याय क्यों करें? February 16, 2018 by मनमोहन आर्य | Leave a Comment मनमोहन कुमार आर्य मनुष्य उसी वस्तु की रक्षा करता है जिसका उसके लिए कोई उपयोग हो व जिससे उसे लाभ होता है। वेद सृष्टि की प्राचीनतम ज्ञान की पुस्तकें हैं। इसमें मनुष्य जीवन के लिए उपयोगी, तृण से लेकर ईश्वर पर्यन्त, सभी पदार्थों का ज्ञान उपलब्ध है। वेदों की भाषा भी संसार की आदि भाषा […] Read more » Featured preserve our vedas study our vedas वेदों की रक्षा वेदों की स्वाध्याय स्वाध्याय
शख्सियत समाज मुज्जफर हुसैन : हम तुम्हें यूं भुला ना पाएंगें February 15, 2018 by संजय द्विवेदी | Leave a Comment संजय द्विवेदी मुंबई की सुबह और शामें बस ऐसे ही गुजर रही थीं। एक अखबार की नौकरी,लोकल ट्रेन के घक्के,बड़ा पाव और ढेर सी चाय। जिंदगी में कुछ रोमांच नहीं था। इस शहर में बहुत कम लोग थे, जिन्हें अपना कह सकें। पैसे इतने कम कि मनोरंजन के बहुत उपलब्ध साधनों से दूर रहना जरूरत और […] Read more » Featured Muzaffar Hussain मुज्जफर हुसैन
लेख साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-58 February 15, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का दसवां अध्याय और विश्व समाज ”पत्ते-पत्ते की कतरन न्यारी तेरे हाथ कतरनी कहीं नहीं-” कवि ने जब ये पंक्तियां लिखी होंगी तो उसने भगवान (प्रकत्र्ता) और प्रकृति को और उनके सम्बन्ध को बड़ी गहराई से पढ़ा व समझा होगा। हर पत्ते की कतरन न्यारी -न्यारी बनाने वाला अवश्य […] Read more »  गीता का आठवां अध्याय Featured geeta karmayoga of geeta todays world आज का विश्व गीता गीता का कर्मयोग गीता का दसवां अध्याय गीता का नौवां अध्याय विश्व समाज
लेख साहित्य गीता का कर्मयोग और आज का विश्व, भाग-57 February 15, 2018 by राकेश कुमार आर्य | Leave a Comment राकेश कुमार आर्य   गीता का नौवां अध्याय और विश्व समाज अन्य देवोपासक और भक्तिमार्गी पीछे हम कह रहे थे कि गीता बहुदेवतावाद की विरोधी है और एकेश्वरवाद की समर्थक है। यहां पुन: उसी बात को श्रीकृष्ण जी दोहरा रहे हैं, पर शब्द कुछ दूसरे हैं। जिन्हें सुनकर लगता है कि वे बहुदेवतावाद को […] Read more »  गीता का आठवां अध्याय Featured geeta karmayoga of geeta todays world आज का विश्व गीता गीता का कर्मयोग गीता का नौवां अध्याय विश्व समाज
राजनीति जिहादी जनून से जलता कश्मीर February 15, 2018 by विनोद कुमार सर्वोदय | Leave a Comment क्या यह उचित है कि दुश्मन के छदम युद्धों का सिलसिला बना रहें और हम उसे कायराना हमला कहकर निंदा करके अपने दायित्वों से भागते रहें ? यह कितना दुर्भाग्यपूर्ण है कि शनिवार 10 फरवरी को सुबह जम्मू में सेना की सुंजवां ब्रिगेड पर हुए जैश-ए-मोहम्मद के आतंकियों के हमले को अभी नियंत्रित भी नही […] Read more » Featured kashmir burning with terror attack अलगाववादियों के समर्थक कश्मीर कश्मीर घाटी कांग्रेस की कश्मीर नीति जलता कश्मीर जिहादी जनून
समाज हिंसक होते बच्चे: कहां गुम हो गया बचपन? February 15, 2018 by प्रवक्ता ब्यूरो | Leave a Comment राघवेंद्र प्रसाद मिश्र वर्तमान अच्छा होगा तभी सुरक्षित भविष्य की कल्पना की जा सकती है। बच्चे जो वर्तमान का भविष्य होते हैं आज उनकी क्रूरता देखकर यह अंदाजा सहज ही लगाया जा सकता है कि भविष्य खतरे में है। पिछले कुछ समय से देश के विभिन्न हिस्सों में बच्चों के जो कू्ररतम कृत्य सामने आये […] Read more » Featured Missing Childhood Violent Children गुम बचपन हिंसक बच्चे हिंसक होते बच्चे