आखिर कब रुकेंगी औरतों पर होती यातनाएं ?
Updated: December 15, 2011
हमारा समाज पुरुष प्रधान देश है. यहाँ औरतें शुरू से ही जुर्म का शिकार होती रही हैं. शादी के पहले उस पर बेटी, बहन के…
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कहो कौन्तेय-74 (महाभारत पर आधारित उपन्यास अंश)
Updated: December 10, 2011
(द्रोण-वध) विपिन किशोर सिन्हा कुरुक्षेत्र के समीप के अरण्य से एक वन्य कुक्कुट ने सूर्योदय की बांग दी। युद्ध के पन्द्रहवें दिन का सूरज पूरब…
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लद्दाख के लिए करामाती है ग्रीनहाउस
Updated: December 10, 2011
स्टांजिंग कुजांग आंग्मो लद्दाख पश्चिम हिमालय में बसा एक ऐसा क्षेत्र है जो कठोर वातावरण का सामना करता है। नवंबर के शुरूआत…
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सामुदायिक वन प्रबंधन का अनूठा प्रयोग
Updated: December 10, 2011
नौशाद आलम आधुनिकीकरण और औद्योगिकीकरण के नाम पर जिस तरह से जंगलों की अंधाधुंध कटाई हो रही है। उसका दुष्परिणाम हम सबके सामने है। जंगलों…
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वायदों में उलझती बिहार की शिक्षा व्यवस्था
Updated: December 10, 2011
सलमान अब्दुस समद बिहार का मधुबनी जिला किसी परिचय का मोहताज नहीं है। ब्लॉक कवि कोकिल विद्यापति की जन्मभूमि रही है। भारतीय साहित्य की भक्ति…
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लक्ष्य से दूर किशोर न्याय अधिनियम
Updated: December 10, 2011
जीनत जिशान फाजि़ल हाल ही में सर्वोच्च न्यायलय ने अपने एक अहम फैसले में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को निर्देश दिया है कि…
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घोषणाओं का अम्बार, करोड़ो का होगा विकास।
Updated: December 10, 2011
बीकानेर नगर विकास न्यास के नवनियुक्त अध्यक्ष हाजी मकसूद अहमद ने शपथग्रहण समारोह के तुरन्त बाद बीकानेर के पत्रकारों से बातचीत की। इस दौरान उन्होंने…
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संसदीय समिति ने आधार (यूआईडी) योजना को किया खारिज
Updated: December 10, 2011
प्रमोद भार्गव देश की आजादी के बाद से ही कई उपाय ऐसे होते चले आ रहे हैं, जिससे देश के प्रत्येक नागरिक को राष्ट्रीय नागरिकता…
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देसी मंडी में विदेशी खपत, जेब पर करारी चपत
Updated: December 9, 2011
क्षेत्रपाल शर्मा आज एफ़ डी आई को लेकर कितनी गरमा गरम बहस है कि एक दूसरे के फ़ैसलों के आधार पर आरोप प्रत्यारोप मढे जा…
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एफ डी आई यानि फेयर डील फार इण्डिया
Updated: December 9, 2011
जग मोहन ठाकन बुजुर्गों का मानना है कि सरकार माई-बाप होती है। मां-बाप कभी अपनी संतान का बुरा नहीं सोचते। और फिर कांग्रेस सरकार तो…
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सिब्ब्ल जी अपने गिरेबान में भी झांकिये
Updated: December 10, 2011
शादाब जफर‘शादाब’ श्री इकबाल हिंदुस्तानी जी का लेख ‘यदि अन्ना कुवांरे होते तो सरकार उन्हे झुका लेती’ पढा ।लेखक ने अपने विचारो को आम आदमी…
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साख खराब हो जायेगी
Updated: December 9, 2011
घनश्याम चंदर्वंशी रिटेल में एफ. डी. आई. के मुद्दे पर लगातार घमासान मचा हुआ है। मल्टी ब्रांड रिटेल में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की अनुमति का…
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