हिंद स्‍वराज फर्क है बस किरदारों का बाकी खेल पुराना है ….

फर्क है बस किरदारों का बाकी खेल पुराना है ….

एल.आर.गाँधी लूटना और लुटाना हमारा राष्ट्रिय व्यसन रहा है. अंग्रजों ने २०० साल राज किया और दो शताब्दियों में लगभग एक लाख करोड़ की लूट…

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हिंद स्‍वराज जब जनमत के खिलाफ गए गाँधी

जब जनमत के खिलाफ गए गाँधी

विकास सिंघल महात्मा गाँधी जो भारत के तथाकथित राष्ट्रपिता कहलाये जाते है, इनकी कोई भी आलोचना इस देश में राष्ट्र द्रोह करार दे दी जाती है.…

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आर्थिकी चवन्नी का अवसान : चवनिया मुस्कान

चवन्नी का अवसान : चवनिया मुस्कान

श्‍यामल सुमन सच तो ये है कि चवन्नी से परिचय बहुत पहले हुआ और “चवनिया मुस्कान” से बहुत बाद में। आज जब याद करता हूँ…

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मीडिया सच छिपाने को……..

सच छिपाने को……..

संजय सक्सेना उत्तर प्रदेश की माया सरकार और उनके नुमांइदों ने हर उस आवाज को कुचल देने की कसम खाई है जो माया या उनके…

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साक्षात्‍कार दूसरी आजादी की लड़ाई में है विराट जन-भागीदारी : प्रो. कुसुमलता केडिया

दूसरी आजादी की लड़ाई में है विराट जन-भागीदारी : प्रो. कुसुमलता केडिया

प्रख्यात समाजवैज्ञानिक एवं गांधी विद्या संस्थान, राजघाट, वाराणसी की कार्यकारी निदेशक प्रो. कुसुमलता केडिया का मानना है कि स्वामी रामदेव और श्री अन्ना हजारे के…

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महिला-जगत लड़की को लड़का बनाने की चाहत

लड़की को लड़का बनाने की चाहत

प्रमोद भार्गव पितृसत्तात्मक मानसिकता और जीव वैज्ञानिक रूढ़िवाद हमारे देश के जन-मानस में कितनी गहरी पैठ बनाए हुए है, इसका पता लिंग परिवर्तन के लिए…

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विविधा कहां जाती हैं पकड़ी गई गायें —- 3

कहां जाती हैं पकड़ी गई गायें —- 3

गाय और ग्लोबल वार्मिंग! लिमटी खरे दुनिया का चौधरी अमेरिका अब भारत की गौ माता पर अपनी कुदृष्टि डालने लगा है। अमेरिका को गाय फूटी…

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विविधा कहां जाती हैं पकड़ी गई गायें —- 2

कहां जाती हैं पकड़ी गई गायें —- 2

. . . इसलिए कत्लखाने जाने लगी गायें लिमटी खरे मीडिया में जब तब यह खबर सुर्खियों में रहा करती है कि फलां जगह से…

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मीडिया चण्डीदत्त शुक्ल राजीव गांधी एक्सिलेंस अवार्ड से सम्मानित

चण्डीदत्त शुक्ल राजीव गांधी एक्सिलेंस अवार्ड से सम्मानित

दैनिक भास्कर की मैगज़ीन डिवीज़न (अहा ज़िंदगी / लक्ष्य) के फीचर एडिटर, युवा कवि और पोर्टल चौराहा.इन के संपादक चण्डीदत्त शुक्ल को दिल्ली के कांस्टीट्यूशनल…

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राजनीति आपातकालीन दमन के अमिट व्रणचिह्न

आपातकालीन दमन के अमिट व्रणचिह्न

कुन्दन पाण्डेय कहते हैं वक्त हर जख्म को भर देता है, लेकिन जख्म के चिह्न को वक्त मिटा नहीं पाता, धुंधला अवश्य कर देता है।…

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मीडिया भविष्य का मीडिया और सामाजिक- राष्ट्रीय सरोकार

भविष्य का मीडिया और सामाजिक- राष्ट्रीय सरोकार

कुन्‍दन पाण्‍डेय आज का युग मीडिया क्रान्ति का युग है। समाचार पत्रों की प्रसार संख्या तो अनवरत बढ़ती ही जा रही है साथ ही 24…

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राजनीति ये है दिल्ली मेरी जान

ये है दिल्ली मेरी जान

लिमटी खरे अण्णा बाबा अगर मोहरा नहीं तो फिर . . .! सियासी दल विशेषकर कांग्रेस का आरोप है कि बाबा रामदेव और अण्णा हजारे…

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